पिछली बार कपास की फसल को पिंक बॉलवार्म से काफी नुकसान हुआ था जिसकी बदौलत किसानों को काफी परेशानी हुयी थी| इस बार कपास की बुवाई ख़त्म होते ही महाराष्ट्र में कपास की फसल पर पिंक बॉलवार्म ने फिर से हमला बोल दिया है| इससे किसानों को परेशानी झेलनी पड़ रही है| इस परेशानी निपटने के लिए कृषि विभाग के अधिकारी प्रभावित क्षेत्रो का दौरा कर रहे हैं| इस परेशानी को देखते हुए राज्य सरकार ने पहले से तैयारी कर रखी थी| इसके लिए कृषि विभाग से किसानों को परामर्श जारी किए गए थे| यह कीट फसल के शुरूआती चरण में ही हमला बोलता है यदि शुरुआत में इस पार काबू पा लिया जाता है तो होने वाले नुकसान को काफी हद तक काबू किया जा सकता है| इस बार राज्य के वाशिम, नांदेड और परभणी क्षेत्र इस कीट की चपेट में हैं| जानकारी के अनुसार इसके अलावा राज्य के नाशिक औरंगाबाद और नागपुर के कुछ हिस्से भी इस कीट की चपेट में हैं| चिंता की बात यह है कि कपास के साथ सोयाबीन को भी यह कीट नुकसान पहुंचा रहा है| फिलहाल कृषि अधिकारी इस कीट के प्रकोप को रोकने में लगे हुए है| इसलिए किसानों को इससे सम्बंधित सही जानकारी उपलब्ध कराई जा रही है|
कपास फिर पिंक बॉलवार्म की चपेट में
पिछली बार कपास की फसल को पिंक बॉलवार्म से काफी नुकसान हुआ था जिसकी बदौलत किसानों को काफी परेशानी हुयी थी| इस बार कपास की बुवाई ख़त्म होते ही महाराष्ट्र में कपास की फसल पर पिंक बॉलवार्म ने फिर से हमला बोल दिया है| इससे किसानों को परेशानी झेलनी पड़ रही है| इस परेशानी निपटने के लिए कृषि विभाग के अधिकारी प्रभावित क्षेत्रो का दौरा कर रहे हैं| इस परेशानी को देखते हुए राज्य सरकार ने पहले से तैयारी कर रखी थी| इसके लिए कृषि विभाग से किसानों को परामर्श जारी किए गए थे| यह कीट फसल के शुरूआती चरण में ही हमला बोलता है यदि शुरुआत में इस पार काबू पा लिया जाता है तो होने वाले नुकसान को काफी हद तक काबू किया जा सकता है| इस बार राज्य के वाशिम, नांदेड और परभणी क्षेत्र इस कीट की चपेट में हैं| जानकारी के अनुसार इसके अलावा राज्य के नाशिक औरंगाबाद और नागपुर के कुछ हिस्से भी इस कीट की चपेट में हैं| चिंता की बात यह है कि कपास के साथ सोयाबीन को भी यह कीट नुकसान पहुंचा रहा है| फिलहाल कृषि अधिकारी इस कीट के प्रकोप को रोकने में लगे हुए है| इसलिए किसानों को इससे सम्बंधित सही जानकारी उपलब्ध कराई जा रही है|
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