झारखंड की पिछली सरकार में किसानों के लिए मुख्यमंत्री कृषि आशीर्वाद योजना चलाई गई, जिसमें सरकार किसानों के लिए राशि मुहैया कराती थी, लेकिन अब राज्य में नई सरकार आ चुकी है, जिसके बाद राज्य सरकार ने अपने पहले बजट में बड़ा बदलाव किया है. रिपोर्ट्स की मानें तो कहा जा रहा है कि पिछली सरकार की महत्वाकांक्षी मुख्यमंत्री कृषि आशीर्वाद योजना को बंद कर दिया जाएगा.
क्या है मुख्यमंत्री कृषि आशीर्वाद योजना?
इस योजना के तहत भी पूर्व की सरकार किसानों के खाते में सीधे राशि भेजती थी. इसमें प्रति एकड़ किसानों के खाते में 2 किश्तों में 5 हजार रुपये की राशि भेजी जाती थी. यह योजना अधिकतम 5 एकड़ तक के लिए थी. मतलब जिन किसानों के पास एक एकड़ ज़मीन है, उन किसानों को प्रोत्साहन के रूप में 5 पांच रुपये दिए जाते थे, तो वहीं जिन किसानों के पास 5 एकड़ ज़मीन है, उन किसानों के खाते में अधिकतम 25 हजार रुपये दो किश्तों में भेजे जाते थे.
कई किसानों ने उठाया लाभ
झारखंड की पूर्व सरकार ने मुख्यमंत्री कृषि आशीर्वाद योजना की शुरुआत की थी, जिसकी अंतिम किश्त किसानों के खाते में अक्टूबर के अंत में भेजी गई थी. जानकारी के मुताबिक, इस योजना में लगभग 16,14,028 किसानों को प्रथम किश्त का भुगतान किया गया था, तो वहीं लगभग 9,27,819 किसानों को दूसरी किश्त दी गई.
किसानों को मिलेगी प्रोत्साहित राशि
ऐसा माना जा रहा है कि राज्य सरकार किसानों के हित में एक कदम आगे की सोच रही है, इसलिए अब सरकार किसानों को खेती करने के लिए प्रोत्साहित राशि देगी. इस नई योजना में प्रति क्विंटल प्रोत्साहन राशि देने का प्रावधान लगभग तय माना जा रहा है. यह राशि 300 से 500 रुपये प्रति क्विंटल के बीच हो सकती है. जानकारी है कि यह राशि किसानों के खाते में भेजी जाएगी.
क्यों बंद होगी योजना?
दरअसल पीएम किसान सम्मान निधि योजना और मुख्यमंत्री कृषि आशीर्वाद योजना का प्रारूप लगभग एक सा है, इसलिए सरकार का मानना है कि अब इन दोनों योजनाओं को एक साथ चलाने की कोई ज़रूरत नहीं पड़ेगी. आपको बता दें कि फिलहाल सरकार के एजेंडे में किसानों की ऋण माफी की योजना है. इससे पहले भी मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़ और राजस्थान में कांग्रेस ने किसानों का ऋण माफ़ किया है.
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