फसल की अच्छी उपज के लिए मिट्टी का उपजाऊ होना बहुत ज़रूरी है. अगर खेत की मिट्टी में सारे पोषक तत्व है, तो फसल से अच्छी पैदावार मिलती है. खेत की मिट्टी को स्वास्थ्य रखने की कई तकनीक हैं. इसके साथ ही कई सरकारी योजनाएं भी हैं,
जो किसानों को मिट्टी परीक्षण में मदद करती हैं. ऐसी ही एक योजना मृदा स्वास्थ्य कार्ड योजना (Soil health card) है. इस योजना के तहत किसानों को कार्ड मिलते हैं, जिनके द्वारा किसान मिट्टी की जांच करा सकते हैं. यह योजना किसानों के बीच काफी संजीदा होती जा रही है.
आपको बता दें कि कई किसानों ने इस योजना के जरिए मिट्टी की जांच कराई है, इससे उन्हें काफी फायदा भी मिला है. यही वजह है कि आज किसान मिट्टी की जांच कराने के लिए पहले से ज्यादा उत्सुक दिखाई पड़ रहे हैं. इसी कड़ी में हरियाणा के करनाल जिले में कृषि विभाग ने खुद जाकर किसानों से मिट्टी की जांच कराने की गुजारिश की है. इसके साथ ही कृषि विभाग ने लगभग 1 लाख 15 हजार 961 किसानों के मृदा स्वास्थ्य कार्ड बनवाए हैं. किसानों को मिट्टी की जांच से पता कर सकते हैं कि खेत की मिट्टी में किन पोषक तत्वों की कमी है, साथ ही उन्हें कैसे दूर कर सकते हैं.
साइल हेल्थ कार्ड के लिए कैसे करें आवेदन (How to Apply Soil Health Card)
सरकार ने मृदा स्वास्थ्य कार्ड की पूरी जानकारी के लिए www.soilhealth.dac.gov.in पोर्टल बनाया है. इस पोर्टल पर सबसे पहले आपको मृदा नमूनों का पंजीकरण, मृदा नमूनों के परीक्षण परिणाम को दर्ज करना होगा. इसके बाद उर्वरक सिफारिशों के साथ मृदा स्वास्थ्य कार्ड (एसएचसी) को बना सकते हैं. खास बात यह है कि इसके लिए सरकार ने एक मोबाइल ऐप भी बनाया है, जिसके जरिए किसान इस योजना की सारी जानकारी घर बैठ ले सकते हैं.
Share your comments