1. Home
  2. ख़बरें

Repo Rate: आरबीआई रेपो रेट बढ़ने से बढ़ेगा जनता का बोझ, जानिए कैसे?

देश में रेपो रेट में बढ़ोतरी की जा सकती है, जिससे आम जनता का बोझ काफी बढ़ जाएगा. तो जानें दर कितना पहुंचने का अनुमान है ...

निशा थापा
Repo rate in the country may increase by 1 percent
Repo rate in the country may increase by 1 percent

भारतीय रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI)  इस सप्ताह क्रेडिट पॉलिसी का ऐलान करेगा, जिसमें आशंका जताई जा रही है कि आरबीआई रेपो रेट में 1 फीसदी तक का इज़ाफा कर सकता है. यदि ऐसा होता है, तो मौजूदा रेटो रेट बढ़कर 5.90 फीसदी तक पहुंच जएगा. रेपो रेट में बढ़ोत्तरी से इसका सीधा प्रभाव जनता की जेब में पड़ेगा.

रेपो रेट क्या है ? (What is repo rate)

रेपो दर वह दर है, जिस पर देश का केंद्रीय बैंक (भारतीय रिजर्व बैंक) वाणिज्य बैंक को वित्तीय तंगी की स्थिति में रुपए उधार देता है. रेपो रेट का उपयोग मौद्रिक अधिकारियों द्वारा मुद्रास्फीति (inflation) को नियंत्रित करने के लिए किया जाता है.

भारत में रेपो रेट दर कितनी है?

देश में बढ़ती महंगाई के उच्च स्तर के कारण रेपो रेट की दरों में भी इजाफा देखने को मिला है. जून में जारी रेपो रेट को देखें, तो भारतीय रिजर्व बैंक ने 0.5 फीसदी की बढ़ोतरी की थी. इसके साथ ही जून माह के बाद से रेपो रेट 4.40 से बढ़कर 4.90 फीसदी हो गया था.

यह भी पढ़ें : NITI Aayog Internship 2022: नीति आयोग में इंटर्नशिप करने का सुनहरा मौका, Under Graduate भी कर सकते हैं अप्लाई

रेपो रेट बढ़ने से क्या होगा असर

रेपो रेट बढ़ने से बैंकों का आरबीआई से लोन लेना और महंगा हो जाएगा, जिससे साफ है कि बैंक अपने ऋण का सारा बोझ आम लोगों पर डाल देगा. यानि की बैंकों से ग्राहकों का लोन लेना और भी महंगा हो जाएगा, जिसमें कार लोन, होम लोन, पर्सनल लोन आदि शामिल है. तो वहीं दूसरी तरफ रेपो रेट में बढ़ोतरी से ईएमआई (EMI) भी बढ़ जाएगी.

English Summary: Repo rate in the country may increase by 1 percent Published on: 03 August 2022, 10:05 AM IST

Like this article?

Hey! I am निशा थापा . Did you liked this article and have suggestions to improve this article? Mail me your suggestions and feedback.

Share your comments

हमारे न्यूज़लेटर की सदस्यता लें. कृषि से संबंधित देशभर की सभी लेटेस्ट ख़बरें मेल पर पढ़ने के लिए हमारे न्यूज़लेटर की सदस्यता लें.

Subscribe Newsletters

Latest feeds

More News