2022 में भारतीय किसानों की आय दोगुनी होने का सपना सच होता दिख रहा है. जी हां, देश के किसानों के लिए एक बड़ी खुशखबरी है. दरअसल, केंद्र सरकार ने भारतीय आमों के निर्यात (Export of Indian Mangoes) के लिए यूनाइटेड स्टेट्स डिपार्टमेंट ऑफ एग्रीकल्चर (United States Department of Agriculture) की मंजूरी प्राप्त कर ली है. नतीजन अमेरिका में आम फल के निर्यात से किसानों की आय में बढ़ोतरी आ सकेगी.
2020 का भी टूटेगा रिकॉर्ड (2020 will also break the record)
खास बात यह है कि वाणिज्य और उद्योग मंत्रालय (Ministry of Commerce and Industry) ने एक बयान में कहा कि निर्यातकों के अनुमान के मुताबिक 2022 में आम का निर्यात 2019-20 के आंकड़ों को पार कर सकता है.
अमेरिका द्वारा क्यों लगाया गया था प्रतिबंध (Why was the embargo imposed by America)
बता दें कि भारतीय आमों का निर्यात अमेरिका द्वारा 2020 से प्रतिबंधित कर दिया गया था. क्योंकि USDA के निरीक्षक महामारी के कारण अंतरराष्ट्रीय यात्रा पर लगाए गए प्रतिबंधों के कारण विकिरण सुविधा के निरीक्षण के लिए भारत का दौरा करने में असमर्थ थे.
भारत और अमेरिका का समझौता (India and America agreement)
कृषि और किसान कल्याण विभाग (Department of Agriculture and Farmers Welfare) और अमेरिकी कृषि विभाग (US Department of Agriculture) द्वारा 12वीं भारत-यूएसए व्यापार नीति फोरम (TPF) की बैठक के बाद '2 Vs 2 Agri market access' मुद्दों को लागू करने के लिए एक रूपरेखा समझौते पर हस्ताक्षर किए जाने के कुछ दिनों बाद यह मंजूरी मिली है. बता दें कि पिछले साल नवंबर में आयोजित किया गया था.
समझौते के तहत, भारत और अमेरिका भारत के आम निर्यात और अमेरिका को अनार के निर्यात और अमेरिका से चेरी और अल्फाल्फा के आयात के लिए संयुक्त प्रोटोकॉल का पालन करना होगा.
समझौते के तहत भारत मार्च के बाद से अल्फांसो किस्म के आमों के साथ शुरू होने वाले आम सीजन में अमेरिका को आम निर्यात करने में सक्षम होगा.
आधिकारिक बयान में कहा गया है कि अमेरिका में भारतीय आमों की भारी स्वीकृति और उपभोक्ता पसंद है क्योंकि भारत ने 2017-18 में अमेरिका को 800 मीट्रिक टन आम का निर्यात किया था और फल का निर्यात मूल्य 2.75 मिलियन डॉलर था.
इसी तरह 2018-19 में, 3.63 मिलियन डॉलर के 951 मीट्रिक टन आमों को यूएसए को निर्यात किया गया था. और 2019-20 में 4.35 मिलियन डॉलर के 1,095 मीट्रिक टन आम का निर्यात किया गया था, जो इस वर्ष में अच्छी तरह से पार हो सकता है.
समझौते के मुख्य बिंदु (key points of the US & India agreement)
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निर्यातकों से प्राप्त अनुमान के अनुसार 2022 में आम का निर्यात 2019-20 के आंकड़ों को पार कर सकता है.
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यूएसडीए की मंजूरी महाराष्ट्र, उत्तर प्रदेश और आंध्र प्रदेश और तेलंगाना जैसे पारंपरिक आम उत्पादन क्षेत्रों से निर्यात का मार्ग प्रशस्त करेगी.
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कृषि और प्रसंस्कृत खाद्य उत्पाद निर्यात विकास प्राधिकरण (APEDA) ने कहा कि इससे उत्तर और पूर्वी भारत से आम की अन्य स्वादिष्ट किस्मों जैसे लंगड़ा, चौसा, दशहरी, फाजली, आदि के उत्तर प्रदेश, बिहार से निर्यात का अवसर मिलेगा.
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संयुक्त राज्य अमेरिका से अल्फाल्फा घास और चेरी का निर्यात अप्रैल 2022 में शुरू होगा.
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