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Paddy Varieties: धान की ये 10 उन्नत किस्में कम पानी में देती हैं शानदार उपज, जानें इनके नाम और खासियतें

Best Paddy Varieties: जलवायु-smart किस्में अब किसानों के लिए विकल्प नहीं, ज़रूरत बन गई हैं. ये किस्में न सिर्फ पर्यावरण के अनुकूल हैं, बल्कि उपज और आय बढ़ाने में भी मदद करती हैं. विशेषज्ञों का मानना है कि आने वाले समय में इन किस्मों को अपनाकर किसान मौसम की मार को झेलने में सक्षम बन सकेंगे और भारत की खाद्य सुरक्षा को मजबूत कर पाएंगे.

लोकेश निरवाल
Paddy Varieties
धान की जलवायु-smart किस्में (AI Image Generator)

Paddy Varieties: चावल, जो भारत समेत एशिया और अफ्रीका के करोड़ों लोगों का मुख्य भोजन है, लेकिन क्या आप जानते हैं कि धान की खेती करने वाले किसानों को अब जलवायु परिवर्तन के चलते कई चुनौतियों का सामना करना पड़ रहा है. देखा जाए तो अनियमित बारिश, सूखा, बाढ़ और बढ़ता तापमान किसानों के लिए मुश्किलें बढ़ा रहे हैं. ऐसे में वैज्ञानिकों और कृषि विशेषज्ञों ने जलवायु-स्मार्ट कृषि के तहत धान की ऐसे कई किस्में विकसित की हैं जो कम पानी, कम समय और कठिन परिस्थितियों में भी अच्छी उपज देती हैं.

इसी क्रम में आज हम देश के किसानों के लिए धान की ऐसी 10 किस्मों की जानकारी लेकर आए हैं, जो हर एक परिस्थितियों में अच्छा मुनाफा दे सके.

धान की ये 10 किस्में, जो हर एक परिस्थितियों में अच्छा मुनाफा देती है

  • डीआरआर धान 100 (कमला): जल्दी पकने वाली यह किस्म मीथेन उत्सर्जन को कम करती है और 19% अधिक उपज देती है. धान की यह किस्म हैदराबाद में भारतीय चावल अनुसंधान संस्थान (ICAR-IIRR) द्वारा विकसित की गई है.
  • पूसा डीएसटी चावल 1 : धान की यह किस्म सूखे और लवणीय मिट्टी झेलने में सक्षम, यह किस्म कठिन परिस्थितियों में भी 20% तक उत्पादन बढ़ा सकती है. इस किस्म को भारतीय कृषि अनुसंधान संस्थान (IARI), नई दिल्ली से पूसा DST चावल 1 को MTU1010 किस्म से तैयार किया गया है.
  • सीआर धान 108 : धान की इस किस्म को ओडिशा और बिहार में ऊपरी भूमि पर खेती के लिए तैयार किया गया है, ये दो भारतीय राज्य अक्सर अनियमित वर्षा से प्रभावित होते हैं.  यह किस्म 112 दिनों में पकती है और वर्षा आधारित खेती में फायदेमंद है.
  • पूसा बासमती 1509 : धान की पूसा बासमती 1509 किस्म 15 दिनों में पक जाती है. यह किस्म 33% तक पानी बचाती है और गेहूं की बुवाई के लिए खेत जल्दी खाली करती है.
  • पूसा आरएच 60 किस्म : धान की पूसा आरएच 60 किस्म बिहार व यूपी के लिए बेहतरीन मानी जाती है. यह सुगंधित और लंबा दाना देने वाली संकर किस्म है.
  • पूसा नरेंद्र KN1 और CRD KN2 किस्म: धान की ये किस्म  पारंपरिक कालानमक चावल का उन्नत रूप, अधिक उपज और कीट-रोग प्रतिरोधी है.
  • पूसा-2090 किस्म : धान की यह किस्म 120-125 दिनों  में पक जाती है. यह प्रति एकड़ 34-35 क्विंटल की औसत उपज के साथ, यह किस्म न केवल उच्च उपज देने वाली है, बल्कि पर्यावरण के अनुकूल भी है। यह किस्म पराली जलाने की आवश्यकता को कम करता है.
  • स्वर्णा-सब1 : यह किस्म यह पौधा 140-145 दिनों में परिपक्व हो जाता है. बाढ़ झेलने में सक्षम यह किस्म पानी के नीचे 14 दिन तक जीवित रह सकती है, पूर्वी भारत के लिए उपयोगी है. इस किस्म के चावल इसमें छोटे, मोटे दाने की संरचना में होते हैं.
  • एराइज़ हाइब्रिड : पारंपरिक किस्मों से 20-35% अधिक उपज, दक्षिण एशिया में लोकप्रिय है.
  • सामुलाई-1444 : धान की यह किस्म खेत में लगभग 140-145 दिनों में पक जाती है, जो इसे लंबे समय तक उगने वाले क्षेत्रों के लिए उपयुक्त बनाती है। यह किस्म उच्च गुणवत्ता और बेहतर बाजार मूल्य वाली किस्म, निर्यात के लिए उपयुक्त है.
English Summary: 10 best paddy varieties give good production in every season with less irrigation Climate-smart varieties Published on: 16 May 2025, 12:47 PM IST

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