उत्तर प्रदेश की योगी सरकार द्वारा किसानों की स्थिति को सुधारने के लिए एवं उन्हें आत्मनिर्भर बनाने के लिए एक अहम कदम उठाया गया है. दरअसल, अब यूपी सरकार किसान उत्पादक संगठनों (एफपीओ) को प्रोत्साहित करने की योजना बना रही है. इस साल से इसकी शुरुआत भी की जा रही है.
बता दें कि केंद्र सरकार ने किसानों का आय दोगुनी करने के लिए किसान उत्पादक संगठनों (एफपीओ) की शुरुआत की थी. इस संगठन के तहत अब योगी सरकार (Yogi Sarkar) भी किसानों को एक नया तोहफा देने जा रही है. इसके तहत हर विकासखंड में एफपीओ (FPO) बनाए जाएंगे. राज्य में 825 विकासखंड हैं, इस लिहाज से 1650 एफपीओ बनाए जाएंगे. आत्मनिर्भर कृषक समन्वित विकास योजना (Self-reliant Farmer Integrated Development Scheme) के क्रियान्वयन संबंधी प्रस्ताव को बीते दिन कैबिनेट बाई सर्कुलेशन के जरिए राज्य सरकार ने मंजूरी दे दी.
क्या है एफपीओ? (What is FPO?)
एफपीओ एक ऐसा संगठन है, जिसके सदस्य किसान ही होते हैं. इसके तहत छोटे किसानों को शुरू से अंत तक समर्थन और सेवाएं प्रदान की जाती हैं. इसके साथ ही तकनीकी सेवाओं, विपणन, प्रसंस्करण, और खेती के इनपुट के अन्य पहलुओं को कवर किया जाता है. यह किसानों का ऐसा समूह है, जो कृषि उत्पादन और कृषि से जुड़ी व्यावसायिक गतिविधियों को चलाता है, इसलिए इसे किसान उत्पादक संगठन (Farmer Producer Organisation) का नाम दिया गया है. इस समूह को बनाकर कंपनी एक्ट में रजिस्टर भी करवा सकते हैं.
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खाद-बीज और कृषि उपकरण की खरीद होगी आसान (The purchase of fertilizers, seeds and agricultural equipment will be easy)
एफपीओ की मदद से किसान भाई फसल की अच्छी उपज के लिए बीज, खाद, दवाएं और कृषि उपकरण आसानी से खरीद सकते हैं. इसके अलावा बिचौलिया के मकड़जाल से भी मुक्ति पा सकते हैं.
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