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देश का पहला मेला जिसमें विकलांग कलाकार और शिल्पकार को एक मंच मिला, जानें क्या है खास

दिल्ली में आयोजित दिव्य कला मेला 2022 में कलाकार और शिल्पकार एकत्रित हुए हैं, जिसका उद्घाटन 2 दिसंबर को इंडिया गेट के कर्तव्य पथ पर हुआ. इस तरह का यह पहला आयोजन है जहां देशभर से विकलांग कलाकार और शिल्पकार आगंतुकों को अपनी कला दिखाने के लिए एकत्रित हुए हैं.

लोकेश निरवाल
इंडिया गेट के कर्तव्य पथ पर 200 कलाकारों ने अपनी कृतियों का प्रदर्शन किया!
इंडिया गेट के कर्तव्य पथ पर 200 कलाकारों ने अपनी कृतियों का प्रदर्शन किया!

देशभर के 22 विभिन्न राज्यों के 200 से अधिक कलाकारों और शिल्पकारों ने एक संपूर्ण और उपचारात्मक प्रस्तुति के रूप में अपनी शिल्प कौशल का प्रदर्शन करने के लिए दिव्य कला मेला 2022 (Divya Kala Mela 2022) का आयोजन किया गया.

आपको बता दें कि यह मेला विशेष रूप से विकलांग व्यक्तियों की कला और शिल्प कौशल को जनता के सामने प्रदर्शित करने वाला पहला मेला है. इस मेले का आयोजन सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्रालय द्वारा किया गया है, जिसका उद्घाटन केंद्रीय सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्री डॉ. वीरेंद्र कुमार ने 2 दिसंबर 2022 को किया था.

6 दिनों तक चलेगा यह मेला

यह दिव्य कला मेला 2022 छह दिवसीय मेला है, जिसमें शिल्पकारों और उद्यमियों के लिए अन्य उद्यमियों और व्यापारियों के साथ-साथ उपभोक्ताओं के साथ आमने-सामने आने का अवसर है, ताकि वे अपना राजस्व बढ़ा सकें. इस दौरान यह मेला 2 से 7 दिसंबर तक सुबह 11 बजे से रात 8 बजे तक जारी रहेगा.

आपकी जानकारी के लिए बात दें कि इस मेले के चलते देशभर में दिल्ली पहला शहर बन जाएगा. जहां इस तरह का मेला आयोजित किया गया है. मेला उद्घाटन सामाजिक न्याय और अधिकारिता राज्य मंत्री सुश्री प्रतिमा भौमिक की उपस्थिति में अन्य गणमान्य व्यक्तियों के साथ हुआ.

दिव्य कला मेला 2022 (Divya Kala Mela 2022)
दिव्य कला मेला 2022 (Divya Kala Mela 2022)

शिल्पकार गृह सज्जा और जीवन शैली, कपड़े, स्टेशनरी, पर्यावरण के अनुकूल उत्पाद, पैकेज्ड फूड, जैविक उत्पाद, गहने आदि सहित कई वस्तुओं का प्रदर्शन कर रहे हैं. मेले में मंत्रालय द्वारा आयोजित सांस्कृतिक कार्यक्रम और गतिविधियां भी शामिल हैं. इसके अलावा इस प्रदर्शन में मेहमानों के लिए देश के विभिन्न हिस्सों से संबंधित विविध भोजन और पेय पदार्थों की श्रृंखला भी मौजूद है. 

मेले का उद्देश्य

मेले का एकमात्र उद्देश्य अलग-अलग विकलांग व्यक्तियों के लिए एक मंच बनाना है. इस मेले में न केवल उनकी शिल्प कौशल दिखाने के लिए बल्कि व्यापार में उद्यम करने में भी सक्षम होना है.

मेले में प्रदर्शनों के माध्यम से उन्हें आत्मनिर्भर बनने का अवसर मिला है. डॉ. वीरेंद्र कुमार ने ट्विटर पर कहा कि मेला 'वोकल फॉर लोकल' अभियान से जुड़ने का एक प्रयास है.

मंत्री ने मेला का किया दौरा
दिव्य कला मेला 2022 के लिए कर्तव्य पथ पर जुटे कलाकार और शिल्पकार

5 लाख से अधिक प्रशिक्षु हुए लाभान्वित

इसकी शुरुआत के बाद से, पीएम दक्ष कार्यक्रम ने 5 लाख से अधिक प्रशिक्षुओं को लाभान्वित किया है. प्रधान मंत्री योजना की महत्वाकांक्षा विशेष रूप से हाशिए के समूहों द्वारा लाभप्रद राजस्व उत्पन्न करने के लिए पारंपरिक गतिविधियों को बढ़ावा देने के लिए है, जो कि कौशल विकास के अवसरों और योजनाओं के सहयोग से सरकार द्वारा निवेश के अवसरों को बनाने के माध्यम से किया जा सकता है. इसके अलावा मेले में सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्रालय के तहत NHFDC, NBCFDC, NSFDC और NSKFDC जैसे शीर्ष निगमों को कार्यक्रम के अनुसार सावधि ऋण योजनाओं और सूक्ष्म वित्त योजनाओं के तहत वित्तीय सहायता प्रदान करना है.

दिव्य कला मेला 2022 देशभर के अलग-अलग विकलांग व्यक्तियों के लोगों का एक सर्व-समावेशी समुदाय बनने का साझा अनुभव देने वाली कहानियों की पराकाष्ठा है.

English Summary: The country's first fair in which a platform was given to disabled artist and craftsman, know its specialty Published on: 04 December 2022, 12:36 PM IST

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