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Medicinal Tree: औषधीय गुणों से भरपूर हैं ये 2 पेड़, पढ़िए इनकी खासियत

हर एक पेड़-पौधे में किसी न किसी तरह के औषधीय गुण मौजूद होते हैं. ये बात अलग है कि कई ऐसी औषधीय पेड़-पौधे हैं, जिनके औषधीय गुणों की जानकारी अभी तक ज्यादा लोगों तक पहुंच नहीं पाई है.

कंचन मौर्य
कंचन मौर्य
Medicinal Plants
औषधीय गुणों से भरपूर हैं पेड़

हर एक पेड़-पौधे में किसी न किसी तरह के औषधीय गुण मौजूद होते हैं. ये बात अलग है कि कई ऐसी औषधीय पेड़-पौधे हैं, जिनके औषधीय गुणों की जानकारी अभी तक ज्यादा लोगों तक पहुंच नहीं पाई है. 

सामान्यत: यह मानना है कि छोटी शाक या फिर जड़ी-बूटियों में ज्यादा से ज्यादा औषधीय गुण मौजूद होते हैं, जबकि ऐसा नहीं है. बता दें कि मध्यम आकार के पेड़ और बड़े-बड़े वृक्षों में कई तरह के औषधीय गुण पाए जाते हैं. उनके तमाम अंगों में भी गजब के औषधीय गुण होते हैं. आइए आज हम आपको 2 ऐसे मध्यम आकार के वृक्षों से रूबरू कराते हैं, जिनके औषधीय गुणों के बारे में शायद ही कोई जानता होगा.

अर्जुन का पेड़ (Arjun Tree)

आमतौर पर यह पेड़ जंगलों में पाया जाता है. इस पेड़ को धारियों-युक्त फलों की वजह से आसानी से पहचाना जा सकता है. जब इसका फल कच्चा होता है, तब हरा होता है और पकने के बाद यह भूरे लाल रंग का हो जाता है. इसका वानस्पतिक नाम टर्मिनेलिया अर्जुना है. इसे औषधीय महत्व के लिए जाना जाता है. इस पेड़ की छाल और फल का उपयोग ज्यादा होता है. अर्जुन की छाल में अनेक प्रकार के रासायनिक तत्व होते हैं. इनमें कैल्शियम कार्बोनेट, सोडियम और मैग्नीशियम की अच्छी मात्रा पाई जाती है.

अर्जुन के पेड़ से होने वाले फायदे (Benefits of Arjun tree)

अर्जुन की छाल का चूर्ण 3 से 6 ग्राम गुड़, शहद या दूध के साथ रोजाना 2 से 3 बार लिया जाए, तो इससे दिल के मरीजों को काफी आराम मिलता है. इसके अलावा अर्जुन की छाल के चूर्ण को चाय के साथ उबालकर ले सकते हैं. इससे उच्च-रक्तचाप भी सामान्य रहता है.

कचनार का पेड़ (Kachnar tree)

इस पेड़ पर हल्के गुलाबी लाल और सफ़ेद रंग के फ़ूल खिलते हैं. इस पेड़ को अक्सर घर, उद्यान या फिर सड़कों के किनारे लगाया जाता है, जिससे उस स्थान की सुंदरता और बढ़ जाती है. इसका वानस्पतिक नाम बाउहीनिया वेरीगेटा है. मध्यप्रदेश के ग्रामीण दशहरे के दौरान इस पेड़ की पत्तियों आदान-प्रदान करते हैं और इस तरह एक-दूसरे को बधाईयां देते हैं. इस पेड़ की पत्तियों को सोना-चांदी भी कहा जाता है.

कचनार के पेड़ से होने वाले फायदे (Benefits of Kachnar tree)

इसकी जड़ों को पानी में कुचलकर फ़िर इसे उबालते हैं. इस पानी को दर्द और सूजन वाले भागों पर बाहर से लेपित करना चाहिए. इससे जल्दी ही आराम मिलता है. इसके साथ ही मधुमेह की शिकायत होने पर रोगी को रोजाना  सुबह खाली पेट इसकी कच्ची कलियां खिलाना चाहिए.

English Summary: Read the characteristics of Arjuna and Kachnar tree Published on: 17 February 2021, 05:01 IST

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