1. Home
  2. सरकारी योजनाएं

बकरी, भेड़ और सूकर पालन के लिए सरकार दे रही 90% सब्सिडी, ऐसे करें आवेदन

खेती के बाद किसानों की आय का दूसरा अहम साधन पशुपालन है. क्योंकि यह कार्य खेती के साथ भी आसानी से किया जा सकता है ऐसे में आय के इस अतिरिक्त साधन से पशु पालक बेहतर आमदनी अर्जित कर सकते है. इसके लिए केंद्र सरकार के अलावा राज्य सरकार भी कवायद शुरू कर दी है.

विवेक कुमार राय
विवेक कुमार राय
Goat Farming
Goat Farming

खेती के बाद किसानों की आय का दूसरा अहम साधन पशुपालन है. क्योंकि यह कार्य खेती के साथ भी आसानी से किया जा सकता है ऐसे में आय के इस अतिरिक्त साधन से पशु पालक बेहतर आमदनी अर्जित कर सकते है. इसके लिए केंद्र सरकार के अलावा राज्य सरकार भी कवायद शुरू कर दी है.

इसी को ध्यान में रखते हुए निजी क्षेत्र के लिए भेड़ तथा बकरी पालन के लिए सब्सिडी देने की योजना बनाई गई है. दरअसल भेड़, बकरी और सूअर पालने वाले लोगों के जीवन स्तर को सुधारने के उद्देश्य से उत्तर प्रदेश में रूल बैकयार्ड भेड़ /बकरी व सूअर पालन योजना शुरू की गई है. जो पशु पालन विभाग की देखरेख में चलेगी.

बकरी/भेड़ पालन की लागत (Goat/sheep rearing cost)

यूपी बदायूं के मुख्य पशु चिकित्साधिकारी डॉ. एके जादौन ने बताया कि इस योजना में भेड़/बकरी पालने वालों को यूनिट के हिसाब से पशु दिए जाएंगे. जिसमें एक नर और 10 मादा भेड़, बकरी होंगी. जबकि सूअर की हर यूनिट में एक नर व तीन मादाएं होंगी. इस योजना के अंतर्गत भेड़ व बकरी पालन का प्रोजेक्ट 66 हजार रुपये और सूअर पालन के प्रोजेक्ट की कीमत 21 हजार रुपये प्रति इकाई तय की गई है.

बकरी/भेड़ पालन के लिए सब्सिडी (Subsidy for goat/sheep rearing)

इस योजना के लिए केंद्र सरकार 60% और राज्य सरकार 30% धनराशि दे रही है. इसमें बाकी 10% अंश पशुपालक को खुद लगाना पड़ेगा. इस तरह भेड़-बकरी पालने वाले पशुपालकों को 66 सौ रुपये और सूअर पालन करने वाले लाभार्थियों को 21 सौ रुपये योजना के अंतर्गत खोले गए खाते में जमा करने होंगे. उसी खाते में योजना की बची धनराशि आरटीजीएस के माध्यम से जमा कर दी जाएगी. आपकी जानकारी के लिए बता दे कि विभाग को भेड़, बकरी के लिए 30-30 और सूअर के लिए 50 का लक्ष्य आवंटित किया गया है.

आवेदन प्रक्रिया और योजना का लाभ (Application process and benefits of the scheme)

जो लोग बकरी/ भेड़ पालन का काम करते हैं, वह प्रधान के माध्यम से अपना प्रार्थना पत्र ब्लॉक स्तरीय पशु चिकित्सा अधिकारी को दे सकते हैं. जिसका चयन जिला स्तरीय चयन समिति करेगी. साथ ही भेड़ मुज्जफरनगरी नस्ल, बकरी की बरबरी/बीटल/स्थानीय ब्रीड और सूअर में लार्ज व्हाइट यॉर्कशायर/ मिडिल व्हाईट यॉर्कशायर की नस्ल के पशु राजकीय फार्म/केंद्र सरकार के फार्म या स्थानीय हाट/बाजार से खरीदे जाएंगे.

English Summary: Government is giving 90% subsidy for goat, sheep and pig rearing, apply this way Published on: 04 February 2020, 04:37 IST

Like this article?

Hey! I am विवेक कुमार राय. Did you liked this article and have suggestions to improve this article? Mail me your suggestions and feedback.

Share your comments

हमारे न्यूज़लेटर की सदस्यता लें. कृषि से संबंधित देशभर की सभी लेटेस्ट ख़बरें मेल पर पढ़ने के लिए हमारे न्यूज़लेटर की सदस्यता लें.

Subscribe Newsletters

Latest feeds

More News