आजकल हर कोई भी अपना बिज़नेस शुरू करना चाहता है. ऐसे में सरकार आपको अपना बिज़नेस शुरू (How to Start Your Own Business) करने के लिए प्रोत्साहन दे रही है. इसके साथ ही नए स्टार्टअप के लिए भारी सब्सिडी (Business Startup Subsidy) भी दी जारी है. ऐसे में मधुमक्खी पालन (Beekeeping) ट्रेंड में है. इसकी अंतराष्ट्रीय मांग भी बढ़ रही है. तो आइये जानते है बीकीपिंग बिज़नेस को कैसे शुरू करें (How to Start Beekeeping Business).
मधुमक्खी पालन पर मिलने वाली सब्सिडी (Beekeeping Subsidy in India)
पिछले कुछ दशकों से देश में पशुपालन क्षेत्र में तेजी से विकास हो रहा है. इस परिदृश्य को ध्यान में रखते हुए, केंद्र और राज्य सरकारें पशुपालन व्यवसाय (Animal Husbandry Business) में और वृद्धि के लिए कई महत्वपूर्ण योजनाएं ला रही हैं.
किसानों के लिए पशुपालन एक ऐसा व्यवसाय है, जिसमें नुकसान की संभावना बहुत कम होती है. इसी कड़ी में हरियाणा सरकार ने राज्य भर में पशुपालन को बढ़ावा देने के लिए मधुमक्खी पालन पर सब्सिडी बढ़ा दी है.
शुरुआती लोगों के लिए मधुमक्खी पालन (Beekeeping for beginners)
हरियाणा में मधुमक्खी पालन पर मिलने वाली सब्सिडी में 45 फीसदी की बढ़ोतरी की गई है. पहले मधुमक्खी पालन (Madhumakkhi Palan) पर 40 फीसदी तक सब्सिडी दी जाती थी, लेकिन अब 45 फीसदी की बढ़ोतरी के साथ 85 फीसदी सब्सिडी दी जाएगी.
रिपोर्ट्स के मुताबिक, राज्य का बागवानी विभाग जल्द ही मधुमक्खी पालन और प्रोत्साहन सहित सब्सिडी की राशि का प्रचार-प्रसार करेगा. इसके तहत किसानों, बागवानों और बेरोजगार युवाओं को मधुमक्खी पालन के व्यवसाय को अपनाने के लिए प्रेरित किया जाएगा.
कैसे प्राप्त करें मधुमक्खी पालन के लिए सब्सिडी (How to get subsidy for beekeeping)
बागवानी विभाग के अनुसार सरकारी योजनाओं में बढ़ी हुई सब्सिडी राशि का लाभ उठाने के लिए किसान, बागवान और बेरोजगार युवा सीधे एकीकृत मधुमक्खी पालन विकास केंद्र रामनगर, कुरुक्षेत्र के उद्यान अधिकारियों या उप निदेशकों से संपर्क कर सकते हैं. इसके बाद आप आवेदन कर योजनाओं का लाभ उठा सकते हैं.
मधुमक्खी पालन बॉक्स उपलब्ध कराएगा विभाग (Department will provide beekeeping box)
खास बात यह है कि किसानों को मधुमक्खी पालन के लिए डिब्बे दिए जाएंगे. इसके अलावा बागवानी विभाग मान्यता प्राप्त बी ब्रीडर से मधुमक्खियां उपलब्ध कराएगा. रिपोर्ट्स के मुताबिक मधुमक्खी के डिब्बे में 50 से 60 हजार मधुमक्खियां रखी जा सकती हैं. बता दें कि इससे 1 क्विंटल तक शहद उत्पादन प्राप्त किया जा सकता है.
फसलों की गुणवत्ता और उपज बढ़ेगी (Increase the quality and yield of crops)
राज्य में मधुमक्खी पालन को बढ़ावा देने से परागण के माध्यम से फसलों की गुणवत्ता और उपज में वृद्धि होगी. कई किसान मधुमक्खी पालकों को अपने खेतों के पास कूड़ेदान रखने की अनुमति नहीं देते हैं क्योंकि उन्हें लगता है कि मधुमक्खियां उनकी सारी फसल खा जाएंगी.
लेकिन बता दें कि मधुमक्खियों द्वारा फसलों के उपचारित होने का कोई खतरा नहीं होता है. जबकि मधुमक्खियां फसलों की उपज को बढ़ा देती हैं. मधुमक्खी फसलों का सबसे बड़ा मित्र एक कीट है. बता दें कि 1 एकड़ सरसों में मधुमक्खियों के परागण से उपज 3 से 4 क्विंटल तक बढ़ सकती है. इस तरह सरसों के तेल में सल्फर की मात्रा 10 प्रतिशत तक बढ़ जाती है.
मधुमक्खी पालन की शुरुआत कैसे करें (How to start commercial beekeeping)
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मधुमक्खी पालन (Madhumakkhi Palan) स्थल में अच्छी मात्रा में वनस्पतियां होनी चाहिए.
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सुनिश्चित करें कि मधुमक्खी पालन स्थल में कोई नमी ना हो.
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साइट पर साफ पानी का स्रोत होना चाहिए.
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आप कृत्रिम रंगों को स्थापित कर सकते हैं और छत्तों को पेड़ के रंगों के नीचे मधुमक्खी पालन स्थल में रख सकते हैं.
मधुमक्खी पालन के लिए मधुमक्खियों के प्रकार (Types of Bees for Beekeeping)
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द रॉक बी (The Rock Bee)
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भारतीय मधुमक्खी (Indian Bee)
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छोटी मधुमक्खी (Little Bee)
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यूरोपीय मधुमक्खी (European Bee)
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