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स्टार्ट अप इंडिया के लिए प्रोत्साहन

स्टार्ट अप इंडिया के तहत सरकार उद्यमिता को बढ़ावा देने में कोई कसर नहीं छोड़ रही है. इसी को ध्यान में रखते हुए सरकार ने कुछ और नए बदलाव किए है. इनके जरिए स्टार्ट अप शुरू करने वालो को प्रोत्साहित किया जायेगा. जिसके जरिए युवाओं के लिए भी रोजगार के नए अवसर खुलेंगे. सरकार द्वारा स्टार्ट-अप्स को प्रोत्साहित करने के लिए किए जाने वाले बदलाव कुछ इस प्रकार है.

 

 

स्टार्ट  अप इंडिया के तहत सरकार उद्यमिता को बढ़ावा देने में कोई कसर नहीं छोड़ रही है. इसी को ध्यान में रखते हुए सरकार ने कुछ और नए बदलाव किए है. इनके जरिए स्टार्ट अप शुरू करने वालो को प्रोत्साहित किया जायेगा. जिसके जरिए युवाओं के लिए भी रोजगार के नए अवसर खुलेंगे. सरकार द्वारा स्टार्ट-अप्स को प्रोत्साहित करने के लिए किए जाने वाले बदलाव कुछ इस प्रकार है. 

1.सरकार ने नवोत्पाद और उद्यमी तैयार करने के लिए एक मजबूत तंत्र बनाने के उद्देश्य  से 16 जनवरी, 2016 को स्टातर्ट अप इडिया की शुरूआत की. सरकार का यह उपाय विभिन्न‍ क्षेत्रों में बड़े पैमाने पर नौकरियों के अवसर पैदा करने के साथ-साथ देश के आर्थिक विकास में मदद कर रहा है.

2.इस पहल के अंतर्गत औद्योगिकी नीति और संवर्द्धन विभाग ने व्यापक आधार वाले मंत्रिस्तरीय बोर्ड का गठन करते हुए 11 अप्रैल, 2018 को राजपत्र अधिसूचना संख्यां 364 (ई) जारी की है ताकि आय कर 1961 के निम्नरलिखित प्रोत्साहनों के दावों के लिए स्टार्ट अप के आवेदनों पर विचार किया जा सके :

क. कानून के अनुच्छेटद 56 के अंतर्गत पात्र स्टार्टअप द्वारा प्राप्त शेयर प्रीमियम पर आय कर लेवी  से छूट दी जा सके.

ख. कानून के 80 आईएसी के अंतर्गत कर निर्धारण के लगातार सात वर्षों में से तीन वर्ष के लिए स्टार्ट अप की आमदनी से प्राप्त लाभ और प्राप्ति में शत-प्रतिशत कटौती.

3.कानून के अनुच्छेद 56 और अनुच्छेद 80 आईएसी के अंतर्गत स्टार्ट अप के प्रमाणीकरण के आवेदनों को एक ऑनलाइन पोर्टल के जरिये डीआईपीपी में जमा किया जाएगा. प्रमाणीकरण के लिए इन आवेदनों पर आईएमबी द्वारा विचार किया जाएगा.

5.कानून के अनुच्छेद 56 के प्रायोजन के लिए निवेशकों के वर्ग पर कोई प्रतिबंध नहीं है और पात्र स्टा्र्ट अप शेयर पूंजी के लाभ के बदले किसी भी व्यक्ति से पूंजी निवेश प्राप्त कर सकता है.

6.देश में स्टार्ट अप तंत्र को सरल बनाने के सरकार के लगातार जारी प्रयास के रूप में डीआईपीपी सरकारी मंत्रालयों/विभागों, नियामकों, नये निवेशकों और स्टार्ट अप सहित साझेदारों के साथ नियमित सलाह-मशविरा कर रहा है. इस अधिसूचना के जरिये लागू संशोधनों का उद्देश्या आयकर कानून 1961 के अंतर्गत छूट के सम्बंन्ध‍ में स्टार्ट अप की प्रमुख मांग को पूरा करना है.

7.इस अधिसूचना के जरिये संशोधनों को पेश किए जाने के साथ, स्टार्ट अप की निधियन तक आसान पहुंच हो सकेगी जिससे नये व्यवसाय करने में आसानी होगी, स्टार्ट अप तंत्र को बढ़ावा मिलेगा,उद्यमी प्रोत्साहित होंगे. इसके परिणामस्व रूप अधिक नौकरियां सृजित होंगी और देश का आर्थिक विकास होगा.

इसके जरिए सरकार का उद्देश्य पूर्ण रूप से स्टार्ट अप्स को बढ़ावा देना है. इससे  कई क्षेत्रों में रोजगार के अवसर पैदा होंगे . इससे ग्रामीण क्षेत्रों में रोजगार के अवसर बढ़ेंगे.    

 

 

 

English Summary: Start Up News Published on: 13 April 2018, 01:56 AM IST

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