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कोरोना से बचने के लिए मास्क पहनना नहीं है जरूरी, जानें क्यों दिया सरकार ने ऐसा आदेश?

बेशक, कोरोना के साथ हम एक वर्ष का सफर तय कर चुके हैं, लेकिन इसका रौब और खौफ अभी-भी जारी है. कोरोना का कहर लगातार अपने चरम पर पहुंचने पर आमादा है. अलबत्ता, वैक्सीन तो बनकर तैयार हो चुकी है और टीकाकरण की प्रक्रिया भी जारी है, मगर कोरोना की दूसरी लहर पहले से भी ज्यादा घातक बताई जा रही है.

सचिन कुमार
Coronavirus
Coronavirus

बेशक, कोरोना के साथ हम एक वर्ष का सफर तय कर चुके हैं, लेकिन इसका रौब और खौफ अभी-भी जारी है. कोरोना का कहर लगातार अपने चरम पर पहुंचने पर आमादा है. अलबत्ता, वैक्सीन तो बनकर तैयार हो चुकी है और टीकाकरण की प्रक्रिया भी जारी है, मगर कोरोना की दूसरी लहर पहले से भी ज्यादा घातक बताई जा रही है. लगातार संक्रमितों की बढ़ती संख्या लोगों के लिए चिंता का सबब बन चुकी है.

ऐसे गंभीर आलम में सभी लोगों से मास्क लगाने की अपील की जा रही है, लेकिन आपको यह जानकर हैरानी होगी कि दुनिया में एक ऐसा देश भी है, जिसको अब कोरोना से कोई खौफ नहीं रह गया है. वो कोरोना से लड़ने के लिए पूरी तरह तैयार हो चुका है. कोरोना के खिलाफ अब उसकी तैयारी का अंदाजा आप महज इसी से लगा सकते हैं कि इस देश ने अपने नागरिकों को भी मुंह पर मास्क लगाने से साफ इनकार कर दिया है.

आपको बता दें कि यह देश कोई और नहीं बल्कि इस्राएल है. जी हां..इस्राएल अब कोरोना से लड़ने के लिए इस हद तक तैयार हो चुका है कि इसने अपने यहां के प्रशासन को मास्क लगाने से भी इनकार कर दिया है. यकीनन, इस्राएल का यह कदम काफी हैरान कर देने वाला है, वो भी ऐसे आलम में जब कोरोना की दूसरी लहर पहले से भी ज्यादा घातक बताई जा रही है. ऐसे में कोई देश भला अपने ही नागरिकों को मुंह पर मास्क लगाने से कैसे मना कर सकता है. कुछ ऐसे ही सवाल हमारे जेहन में पैदा हुए थे, जब हमें यह पता चला कि इस्राएल ने अब कोरोना से बचने के लिए अपने देश के नागरिकों को मुंह पर मास्क लगाने  से मना कर दिया है.

एक पल के लिए तो हमें लगा कि यह खबर झूठी भी हो सकती है, मगर जब इस्राएल के उस ट्वीट पर  हमारी नजर गई, तो फिर हमारे दिल से सारे संशय खुद ब खुद ध्वस्त हो गए. दरअसल, इस्राएल ने खुद अपने लोगों को ट्वीट कर बाहर निकलते समय मुंह पर  मास्क लगाने से साफ मना कर दिया है. 

कोरोना के खिलाफ कैसी है इस्राएल की तैयारी

लाजिमी है कि अब आपके जेहन में यह सवाल उठ रहा होगा कि ऐसे आलम में जब पूरी दुनिया कोरोना के कहर से त्राहि-त्राहि कर रही, तो भला इस्राएल ने ऐसी कोई-सी तकनीक ईजाद कर  ली है, जिसके सहारे इतने कम समय में कोरोना वायरस के  प्रभाव को बिल्कुल नरम कर दिया है.  बता दें कि इस्राएल में अब भी टेस्टिंग का सिलसिला जारी है. अब तक वहां 16 साल तक की उम्र के 81 फीसद लोगों को टीका लगाया जा चुका है. बहरहाल, एहतियातन अब भी बरती जा रही है.  बाहर देश  से आने वाले शख्स को पहले आइसोलेट किया जा रहा है. इसके बाद ही  उससे काम काम कराया जा रहा है.

वहीं, इस्राएल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहु ने पत्रकारों से मुखातिब होते हुए कहा कि यकीनन अभी पूरी दुनिया कोरोना के साए में जीने को मजबूर हैं. कोरोना का नया वेरिएंट पहले से भी ज्यादा घातक बताया जा रहा है. ऐसी स्थिति में हमने काफी बेहतर लड़ाई लड़ी है. बहरहाल, अभी कोरोना के नए वेरिएंट का पता लगाया जा रहा है, ताकि उसके खिलाफ चिकित्सक उपकरण का  पता लगाया जा  सके. 

सोशल मीडिया पर खुशी जाहिर कर रहे हैं लोग

बता दें कि इस्राएल दुनिया का पहला ऐसा देश बन गया है, जिसने कोरोना के खिलाफ जंग  में लोगों को अब मास्क पहनने से मना कर दिया है. इस्राएल ने पूरे आत्मविश्वास के साथ  यह साफ कर दिया है कि उसे अब मास्क पहनने की जरूरत नहीं है. वे कोरोना के खिलाफ अपनी लड़ाई में  अपने लावलश्कर को दुरूस्त कर चुके हैं.

English Summary: israil said that now no need to wear the mask against coronavirus Published on: 20 April 2021, 02:15 PM IST

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