केंद्र सरकार द्वारा तंबाकू उत्पादक किसानों के लिए एक अहम फैसला लिया गया है, जिससे तंबाकू उत्पादक किसान काफी खुश हैं. दरअसल, केंद्रीय वाणिज्य और उद्योग मंत्रालय द्वारा तंबाकू के अतिरिक्त उत्पादन पर लगने वाली पेनाल्टी को आधा कर दिया है. इस तरह किसानों की आय में अच्छा इजाफा भी होगा.
तंबाकू के अतिरिक्त उत्पादन पर पेनाल्टी (Penalty on excess production of tobacco)
वाणिज्य और उद्योग मंत्रालय की मानें, तो अब अधिकृत किसानों को मात्र 1 रुपए प्रति किलो शुल्क देना होगा. इसके साथ ही अतिरिक्त उत्पादन के कुल मूल्य पर 5 प्रतिशत पेनाल्टी देनी होगी. सरकार के इस फैसले से पहले पेनाल्टी प्रति किलो 2 रुपए शुल्क लगता था, तो वहीं अतिरिक्त उत्पादन पर 10 प्रतिशत की पेनाल्टी लगती थी.
किसानों को लीज पर लेनी पड़ती थी जमीन (Farmers had to take land on lease)
सरकार के इस फैसले से किसानों को एक अच्छा लाभ हुआ है कि अब उन्हें तंबाकू का अधिक उत्पादन करने और रकबा बढ़ाने पर सोचना नहीं पड़ेगा. इससे पहले किसानों को उत्पादन पर 2 रुपए प्रति किलो और अतिरिक्त उत्पादन पर 10 प्रतिशत की पेनाल्टी देनी पड़ती थी.
इस तरह किसानों की आय काफी प्रभावित होती थी. मगर अब सरकार का लिया गया फैसला किसानों के हित में है. बता दें कि पहले किसान प्रति खलिहान कोटा में कमी को रोकने के लिए ज्यादा जमीन पर खेती करते थे.
इसके लिए लीज पर लेनी जमीन लेनी पड़ती थी. इस फैसले के बाद प्रति खलिहान कोटे की चिंता नहीं रहेगी, क्योंकि अब जमीन पट्टे पर लेने की जरूरत नहीं है.
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15 राज्यों में होती है तंबाकू की खेती (Tobacco is cultivated in 15 states)
आर्थिक रूप से तंबाकू की खेती तभी लाभकारी होती है. भारत में तंबाकू की खेती अन्य फसलों के मुकाबले कम होती है, लेकिन इसे देश की एक महत्वपूर्ण व्यावसायिक फसल माना जाता है. ऐसे में इसे स्वर्णिम पत्ति भी कहा जाता है.
अनुमान है कि भारत के करीब 15 राज्यों में अलग-अलग प्रकार की 10 तंबाकू की खेती की जाती है, जिससे अच्छा उत्पादन होता है.
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