छत्तीसगढ़ के भूमिहीन, छोटे सीमांत किसानों के लिए यह खबर खास है. जी हाँ छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल (Chief Minister Bhupesh Baghel ) ने राज्य के सभी किसानों और भूमिहीन वर्ग के किसानों की आर्थिक मदद करने के लिए राजीव गांधी किसान न्याय योजना, राजीव गांधी ग्रामीण भूमिहीन कृषि मजदूर न्याय योजना और गोधन न्याय योजना चला रखी है.
इन योजनाओं के तहत सभी लाभार्थियों को मदद राशि प्रदान करने की तैयारी कर रही है. भूपेश बघेल ने ऐलान करते हुए कहा कि वित्तिय वर्ष के अंतिम दिन 31 मार्च 2022 को हितग्राहियों के खाते में पैसे डाले जायेंगे.
क्या है राजीव गांधी किसान न्याय योजना (What is Rajiv Gandhi Kisan Nyaya Yojana)
इस योजना को पिछले साल शुरू किया गया था, जिसके तहत भूमिहीन मजदूरों और पारंपरिक व्यवसायों में लगे लोगों को 6000 रुपये प्रति वर्ष दिया जाता है. 30 नवंबर 2021 तक 4,41,000 से अधिक मजदूरों ने योजना के लिए पंजीकरण कराया था. पंजीकरण के बाद, आवेदनों का विश्लेषण किया गया था. जिसमें करीब राज्य के 4,41,000 से अधिक किसानों मजदूरों ने इसका लाभ उठाया है.
इसके अलावा राज्य सरकार ने न्यूनतम सुरक्षित मूल्य (एमएसपी) योजना के तहत खरीदे गए धान का 2500 रुपये प्रति क्विंटल भुगतान करने का वादा भी पूरा करने का लक्ष्य रखा है. जिसकी चौथी किस्त लाभार्थियों के खाते में 31 मार्च 2022 को जारी की जाएगी.
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वहीं इसी तरह राजीव गांधी ग्रामीण भूमिहीन कृषि मजदूर न्याय योजना के तहत पात्र हितग्राहियों को सालाना 6 हजार रुपए की आर्थिक सहायता दी जा रही है. जो लाभार्थी इस योजन पंजीयन किया हुआ है, उन्हें भी इस योजना के तहत मिलने वाली भुगतान राशि 31 मार्च 2022 को दी जाएगी.
वहीँ कांग्रेस सरकार द्वारा 'न्याय योजना' के तहत एक अन्य गोर्धन न्याय योजना भी शुरू की है. इसके तहत राज्य के पशुपालकों से 2 रुपये प्रति किलोग्राम गाय का गोबर खरीदा जाता है, जिसे आगे जैविक खाद के लिए वर्मी कम्पोस्ट के रूप में उपयोग किया जाता है.
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