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भारत को किसानों का देश कहा जाता है, क्योंकि यहाँ की आधे से ज़्यादा आबादी अभी भी गाँव में रहती है और खेती किसानी से अपना जीवन यापन करती है. भारत के किसानों की अगर बात की जाये तो सरकार के द्वारा तमाम ऐसी योजनाएं चलायीं जा रहीं हैं जिनके अंतर्गत किसानों को लाभ मिल रहा है. और साथ ही हमारे कृषि विज्ञान केन्द्रों के द्वारा किसानों को खेती के बारे में सजग भी किया जा रहा है.
इसी सजगता को लेकर यूपी के अमरोहा में कुछ दिन पहले किसानों के लिए एक कार्यक्रम आयोजित किया गया जिसमें कृषि विज्ञान केंद्र प्रभारी डॉ. एके मिश्र ने किसानों को जानकारी दी कि वह 0 238 प्रजाति को छोड़कर नवीन प्रजातियों की भी बुवाई करें.
क्योंकि इसमें बीमारियों का खतरा ज़्यादा होने के कारण पैदावार में गिरावट आ रही है. साथ ही कार्यक्रम में सम्मिलित डॉ.शीशपाल सिंह ने खेती किसानी से जुड़े पुरूषों और महिलाओं को गन्ने के साथ सब्जियों की खेती करने पर भी जोर दिया.
और कहा किसान गन्ने के साथ सब्जियों एवं फूलों की खेती करके ज़्यादा पैसा कमा सकते हैं.क्योंकि तीन महीने तक गन्ने की फसल धीरे- धीरे बढ़ती है.
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इसलिए उसके साथ हल्दी ,अदरक, रजनीगंधा ,अगेती फूलगोभी, मूली ,टमाटर आदि की खेती कर सकते हैं. कार्यक्रम में देवी चरण, बलवंत सिंह ,अजीत सिंह, हरपाल, अंजू कुमारी, संगीता देवी आदि लोग भी मौजूद रहे.
किसानों को मुफ्त बीज दिए गए
कार्यक्रम में सम्मिलित अनुसूचित जाति के 100 किसानों को धान का पूसा 1509 प्रजाति का पांच-पांच किलो बीज नि:शुल्क वितरित किया गया. और साथ में बताया गया कि आने वाली धान की फसल के लिए किसान उसकी पौध को किस तरह तैयार करें.
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