1. Home
  2. खेती-बाड़ी

पपीते की इन टॉप 3 किस्मों की करें खेती, होगी प्रति एकड़ 3-4 लाख रुपये तक की आमदनी!

पपीते की खेती किसानों के लिए बेहतर विकल्प है, जो उन्हें 3 से 4 लाख रुपये तक का बढ़िया मुनाफा दिला सकती है. यहां जानें पपीते की कौन-सी किस्में किसानों को कर सकती हैं मालामाल.

KJ Staff
papaya farming
पपीते की इन टॉप 3 किस्में ( Image Source - Freepik)

पपीते का सेवन कई रोगों में लाभकारी होता है. इस फल में विटामिन A, C और E, पोटेशियम, फोलेट और फाइबर जैसे पोषक तत्व पाए जाते हैं, जो शरीर के लिए बहुत जरूरी होते हैं. इसलिए बाजार में पपीते की मांग हमेशा बनी रहती है. वही, पपीते की खेती देश के कई राज्यों में की जाती है. अगर किसान पपीते की रेड लेडी-786, पूसा डिलीशियस और पूसा पीत किस्मों की खेती करते हैं, तो बड़ा लाभ कमा सकते हैं.

पपीते की तीन उन्नत किस्में –

रेड लेडी-786

  • पपीते की यह किस्म जल्दी पकने वाली है, जो लगभग 4 से 8 महीनों में फल देना शुरू कर देती है.

  • यह किस्म पपाया रिंग स्पॉट वायरस के प्रति प्रतिरोधी है.

  • इस फसल की खासियत है कि इसका छिलका परिवहन के दौरान फल को खराब होने से बचाता है.

  • पपीते की इस किस्म के फल का वजन करीब 2 से 2.5 किलोग्राम तक हो सकता है.

पूसा डिलीशियस

  • पूसा डिलीशियस पपीते की यह किस्म किसानों को 40 से 60 किलोग्राम तक की बढ़िया उपज दे सकती है.

  • अक्टूबर-नवंबर का समय पपीते की खेती के लिए उपयुक्त है, जब तापमान न तो बहुत अधिक होता है और न ही बहुत कम. ऐसे में इस किस्म की बढ़त अच्छी होती है और यह जल्दी फल देती है.

  • पपीते की इस किस्म के पौधे लगाने के 8 महीने बाद लगभग 250 दिनों में फल देना शुरू कर देती है.

  • इस किस्म की खासियत यह है कि यह विभिन्न जलवायु के लिए उपयुक्त है.

पूसा पीत

  • पपीते की इस किस्म का वजन लगभग 972 से 1035 ग्राम होता है और इसके फल छोटे से मध्यम आकार के होते हैं.

  • पपीते की इस किस्म की उपज प्रति पौधा औसतन 36 से 41 किलोग्राम तक मिल सकती है.

  • अगर इस किस्म के बीज दर की बात करें, तो इस किस्म में पूसा नन्हा की तुलना में बीज की आवश्यकता 66% कम होती है.

किन राज्यों में करें पपीते की खेती

पपीते की खेती भारत के कई राज्यों में की जाती है. इस फल के लाभकारी फायदों के कारण इसकी मांग लगातार बढ़ रही है. देश के लगभग सभी हिस्सों में उपयुक्त जलवायु और मिट्टी की परिस्थितियों में पपीते की खेती व्यावसायिक स्तर पर की जाती है. साथ ही, इन राज्यों में मुख्य रूप से पपीते की खेती की जाती है –

प्रमुख उत्पादक राज्य

  • दक्षिणी राज्य: आंध्र प्रदेश, कर्नाटक, तमिलनाडु, केरल.

  • पूर्वी राज्य: पश्चिम बंगाल, ओडिशा, बिहार, असम.

  • पश्चिमी और मध्य राज्य: गुजरात, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश.

किसानों को होगा कितना लाभ

पपीते की इन किस्मों ‘रेड लेडी-786’ और ‘पूसा डिलीशियस’ की खेती करके किसान प्रति पौधा 40 से 60 किलोग्राम तक उत्पादन अर्जित कर सकते हैं. ये किस्में किसानों को लगभग एक एकड़ में 3 से 4 लाख रुपये तक की अच्छी कमाई करा सकती हैं. इस रकम से किसान भाई अपनी खेती को और भी बेहतर बना सकते हैं, अच्छे उर्वरक का इस्तेमाल करके ज्यादा पैदावार प्राप्त कर सकते हैं.

English Summary: top 3 papaya varieties will give good yield profits Published on: 31 October 2025, 05:00 PM IST

Like this article?

Hey! I am KJ Staff. Did you liked this article and have suggestions to improve this article? Mail me your suggestions and feedback.

Share your comments

हमारे न्यूज़लेटर की सदस्यता लें. कृषि से संबंधित देशभर की सभी लेटेस्ट ख़बरें मेल पर पढ़ने के लिए हमारे न्यूज़लेटर की सदस्यता लें.

Subscribe Newsletters

Latest feeds

More News