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World Wildlife Day 2022: जानें विश्व वन्यजीव दिवस का इतिहास और महत्व

मानव जीवन की तरह वन्यजीवों (Wildlife) का भी अपना अस्तित्व होता है. जीव यानि जानवर एक प्रकार के बेजुवान प्राणी होते हैं, जो अपने भाव को दिखा नहीं पाते हैं. वन्यजीव आज कई अलग-अलग चुनौतियों का सामना कर रहे हैं, जिनमें अवैध शिकार और जानवरों की खाल, दांत या फर की तस्करी करना शामिल है.

स्वाति राव
World Wildlife Day 2022
World Wildlife Day 2022

मानव जीवन की तरह वन्यजीवों (Wildlife) का भी अपना अस्तित्व होता है. जीव यानि जानवर एक प्रकार के बेजुवान प्राणी होते हैं, जो अपने भाव को दिखा नहीं पाते हैं. वन्यजीव आज कई अलग-अलग चुनौतियों का सामना कर रहे हैं, जिनमें अवैध शिकार और जानवरों की खाल, दांत या फर की तस्करी करना शामिल है.

इसलिए जानवरों के प्रति बढ़ते अत्याचार को रोकने के लिए, लोगों को जानवरों के प्रति मानवता को जागरूक करने के लिए एवं वन्य जीवों के महत्व (Importance Of Wildlife ) को समझाते हुए हर साल 3 मार्च की तारीख को विश्व वन्यजीव दिवस (World Wildlife Day on 3rd March) के रूप में मनाया जाता है. यह दिन ना केवल दुनिया के जंगली वनस्पतियों और जीवों की विविधता का जश्न मनाता है, बल्कि मानव गतिविधियों के कारण होने वाले खतरों के बारे में जागरूकता भी बढ़ाता है. इसलिए जानवरों के साथ हम सभी को मानव की तरह व्यवहार करना चाहिए.

विश्व वन्यजीव दिवस का इतिहास 2022 (History Of World Wildlife Day 2022)

शुरुआत में संयुक्त राष्ट्र महासभा (United Nations General Assembly) में थाईलैंड द्वारा प्रस्तावित, विश्व वन्यजीव दिवस को 20 दिसंबर, 2013 को एक अंतरराष्ट्रीय अवकाश के रूप में स्थापित किया गया था. यह निर्णय लिया गया था कि इसे 3 मार्च को मनाया जाएगा, क्योंकि यह वह दिन है जिसमें अंतर्राष्ट्रीय व्यापार पर कन्वेंशन वन्य जीवों और वनस्पतियों (सीआईटीईएस) की लुप्तप्राय प्रजातियों को अपनाया गया था.

इसे पढ़ें - National Girl Child Day 2022: हर साल 24 जनवरी को मनाया जाता है राष्ट्रीय बालिका दिवस, पढ़िए इसका इतिहास और महत्व

पूरे विश्व में जानवरों के विलुप्त होने की घटना एक प्राकृतिक घटना बनती जा रही है. कई वैज्ञानिकों का अनुमान है कि लगभग 10,000 गुना अधिक मान से हम जानवर प्रजाति को स्वाभाविक रूप से खो रहे है. साल 2016 तक जो जानवर पहले ही विलुप्त हो चुके थे, उनमें हीथ मुर्गी, कैरिबियन भिक्षु सील, बाईजी डॉल्फ़िन, गोल्डन टॉड, कैस्पियन टाइगर और तस्मानियाई बाघ आदि शामिल थे. वहीँ साल 2017 तक सबसे लुप्तप्राय प्रजातियां - हाथीदांत-बिल कठफोड़वा, जावन गैंडा, पश्चिमी तराई गोरिल्ला, बाघ, अमूर तेंदुआ, चीनी विशाल समन्दर और लाल भेड़िया आदि हैं और यह हजारों जानवरों का केवल एक छोटा सा नमूना है जो वर्तमान में विलुप्त होने का सामना कर रहे हैं.

विश्व वन्यजीव दिवस कैसे मनाया जाता है 2022 (How World Wildlife Day Is Celebrated 2022)

विश्व वन्यजीव दिवस एक संयुक्त राष्ट्र द्वारा स्वीकृत किया गया दिवस है, इसलिए इस दिन को अलग-अलग तरीकों से मनाया जाता है. आमतौर पर दुनिया के जीवों और वनस्पतियों की दुर्दशा को उजागर करने वाले सभी विभिन्न प्रकार के सेमिनार और प्रस्तुतियाँ होती हैं. लुप्तप्राय जानवरों के लिए धन जुटाने के लिए कई अन्य चैरिटी भी चलाये जाते हैं.

English Summary: world wildlife day 2022, History, Significance Published on: 24 February 2022, 04:19 PM IST

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