जैसे कि आप सब लोग जानते है कि, हर साल 22 अप्रैल को पर्यावरण की सुरक्षा और इसकी जिम्मेदारियों को समझाने हेतु 'विश्व पृथ्वी दिवस' (World Earth Day 2022) मनाया जाता है. ताकि लोगों को जागरूक और अपने जिम्मेदारी का अहसास दिलाया जा सके. इस दिन को आधुनिक पर्यावरण आंदोलन की वर्षगाठ का भी प्रतिक माना जाता है, जो 1970 से प्रांरभ हुआ था.
आपको बता दें कि विश्व पृथ्वी दिवस मानव जाति के लिए धरती मां की सुरक्षा के लिए विशेष तौर पर मानाया जाता है. इस संदर्भ में कृषि जागरण द्वारा विश्व पृथ्वी दिवस 2022 को लेकर एक खास वेबिनार आयोजित किया गया. इस वेबिनार में कई विशेषज्ञ शामिल हुए, जो विश्व पृथ्वी दिवस 2022 को लेकर अपना विचार व्यक्त किया.
विश्व पृथ्वी दिवस 2022 वेबिनार की सुर्खियां (Highlights of World Earth Day 2022 Webinar)
बता दें कि कृषि जागरण के मंच पर स्पीकर्स ने विश्व पृथ्वी दिवस 2022 (World Earth Day 2022 ) पर जनता और किसान भाइयों के मुद्दों पर चर्चा की. इसी क्रम में हमारे साथ देश के अलग-अलग स्थान से कई किसान व अधिकारियों ने जुड़कर इस वेबिनार को ऐतिहासिक बनाया.
सर्वप्रथम आनंद सिंह ठाकुर, प्रगतिशील किसान, जैविक कृषि फार्म, इंदौर मध्य प्रदेश ने कृषि जागरण के प्लेटफार्म से विश्व पृथ्वी दिवस 2022 (World Earth Day 2022 ) वेबिनार में कहा यदि धरती माता जीवित रहेंगी तो हमारा जीवन संभव है. इसके लिए हम कई प्रकार के विभिन्न कार्य शुरू कर सकते हैं. ऐसे में सबसे अच्छा ऑर्गेनिक फार्मिंग (organic farming) है और इसी के साथ-साथ हमें जैविक खेती व देसी गाय का पालन भी शुरू करना चाहिए और वृक्षारोपण पर ध्यान देना चाहिए. इसके अलावा उन्होंने कम से कम पानी के उपयोग पर ध्यान दें की बात कहीं.
धर्म सिंह मीणा, अपर सचिव वन एवं पर्यावरण, सरकार उत्तराखंड, देहरादून ने धरती के बचाव के मुख्य बिंदु पर जोर डाला, उन्होंने कहा कि हमे पानी को दो तरह से स्टोर करने की जरूरत करने की जरूरत है. एक सर फर्स्ट और दूसरा गराउड पानी है. इसके अलावा इन्होंने पेड़ को भी सुरक्षित रखने की बात की. अंत में उन्होंने धरती मां के लिए निवेश को लेकर किसानों को सुझाव दिया कि हमें धरती मां के लिए निवेश करना चाहिए, ताकि जब हम इसपर चले तो हमें महसूस हो की हमने इसमें निवेश किया जिससे हमारी धरती हरी भरी है.
राधिका आनंद, मुख्य कार्यकारी अधिकारी, प्लांटोलॉजी ने भी अपने विचार व्यक्त किए. उन्होंने अपनी विचारों की शुरुआत एक प्रार्थना के साथ की. इसके बाद उन्होंने बताया कि, इनकी संस्था ने साल 2015 में एक मुहिम छेड़ी जिसका नाम है मिशन फलवन (Mission Phalvan) है. इस मिशन में इनका सहयोग सबसे पहले आर्मी ने दिया और फिर उसके बाद BSF, CISF ने भी दिया और साथ ही यह थोड़ा बहुत काम CRPF के लिए भी करती है. इन्होंने बताया कि यह अब तक पूरे भारत में 6 लाख से अधिक फलों के पेड़ लगाए है. इनका कहना है कि जहां पर हमरी सेना है वहां पर यह सब कुछ संभव है.
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डॉ. भूपिंदर सिंह, प्रमुख और प्रधान वैज्ञानिक, पर्यावरण विज्ञान विभाग, ICAR दिल्ली , डॉ. एस.डी. सिंह, पूर्व अधिकारी, आईएफएस, अभिलाष द्विवेदी, स्टेट एक्टिवेशन मैनेजर, बेटर लाइफ फार्मिंग, बेयर क्रॉप साइंस, अश्विन सागर, निदेशक, मॉम ऑर्गेनिक्स और अतुल पाटीदार, मुख्य कार्यकारी अधिकारी, फार्मकार्टी ने भी विश्व पृथ्वी दिवस पर किसानों व आम जनता को धरती के बचाव को लेकर सुझाव दिया और साथ ही उन्होंने कृषि जागरण को धन्यवाद भी दिया इस वेबिनार का हिस्सा बनाने के लिए.
आपकी जानकारी के लिए बता दें विश्व पृथ्वी दिवस (world earth day) के इस वेबिनार में कई तरह की चर्चा की गई, जिससे किसानों को तो लाभ होगा ही साथ ही धरती मां भी सुरक्षित रहेंगी. यदि आप पूरा वेबिनार देखना चाहते हैं, तो आप हमारे फेसबुक पेज पर जाकर इस विशेष चर्चा को विस्तार से देख सकते हैं.
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