मौसम के हिसाब से फसलों की देखभाल बहुत जरूरी है. कभी-कभी मौसम में होता अचानक परिवर्तन (weather change) फसलों पर बुरा प्रभाव डालता है. कभी बेमौसम की बारिश, तो कभी गिरता तापमान और शीत लहर (Cold Wave) से फसलों पर कई तरह के रोग लग जाते हैं. इसके साथ ही मिटटी की गुणवत्ता (Soil Quality) भी कम हो जाती है.
इस वजह फसलों के उत्पादन और गुणवत्ता में भारी कमी आ जाती है. ऐसा ही मामला बिहार के बरियारपुर क्षेत्र में पाया गाय है, इसलिए यहाँ के कृषि वैज्ञानिकों ने किसानों को फसल की उपज को बरक़रार रखने के लिए रासायनिक छिड़काव (Chemical Spray) करने की सलाह दी है.
कृषि वैज्ञानिकों ने किसानों की समस्या को सुना और उन्हें इस परेशानी से निजात दिलाने के लिए खेतों पर पहुंचकर फसलों का अवलोकन किया. उन्हें बताया कि मैनकोज़ेब मैंटालिक्सिल मिश्रित रसायन का फसल के ऊपर 2 ग्राम प्रति लीटर पानी में मिलाकर छिड़काव करें. इसके साथ ही बायोजाइम 3 ग्राम प्रति लीटर की दर से 10 दिनों के अंतराल में बराबर फसल पर छिड़काव करते रहें. इससे पौधे स्वस्थ एवं ठंड के प्रकोप से होने वाले नुकसान से बचेंगे, साथ ही फसलों पर लगने वाले रोगों से निजात मिलेगी.
मौसम की मार किसानों के लिए मुसीबत (Trouble For Farmers Due To Weather)
बता दें कि मौसम में होते बदलाव की वजह से फसलें काफी प्रभावित हो रही हैं. किसानों के लिए यह मौसम में होता बदलाव चिंता का विषय बनता जा रहा है. इस मौसम ने जिले के 26 फीसदी किसानों को चिंता में डाल दिया है. विशेष रूप से आलू, सरसों समेत तिलहनी फसलों को सर्वाधिक नुकसान हुआ है. इसके अलावा टमाटर, गोभी, पालक के साथ धनिया, सरसो, मसूर, अरहर की फसलें खराब हुई हैं.
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