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Punjab Advisory: किसानों को सितंबर में करना होंगे ये जरूरी काम, फिर मिलेगा लाभ ही लाभ

कृषि में मौसम व फसलों के लिए सीजन बदलते रहते हैं. ऐसे में उन्हें सही सलाह और जानकारी होने बेहद जरूरी है, जिसके लिए उन्हें एग्रोमेट एडवाइजरी को ध्यान से पढ़ना चाहिए, ताकि भविष्य में उनकी फसलों को कोई क्षति ना पहुंचे और आर्थिक नुकसान भी ना हो.

रुक्मणी चौरसिया
Advisory For Farmers
Advisory For Farmers

किसानों को सही जानकारी और सलाह देने के लिए कृषि जागरण अक्सर राज्यों के मुताबिक, एग्रोमेट एडवाइजरी लेकर आता रहता है. ऐसे में आज हम पंजाब के किसानों के लिए सितंबर माह (Punjab Agromet Advisory) की एडवाइजरी लेकर आए हैं जिसमें आने वाले एक हफ्ते में आपको नीचे दिए गए कामों को निपटना बेहद जरूरी है.

धान (Paddy)

आवश्यकता आधारित यूरिया अनुप्रयोग के लिए पीएयू-पत्ती रंग चार्ट का प्रयोग करें.

धान की फसल को म्यान झुलसा से बचाने के लिए खेत की मेड़ों को घास हटाकर साफ रखें.

रोग के लक्षण दिखाई देने पर 150 मिली पल्सर या 26.8 ग्राम एपिक या 80 ग्राम नेटिवो या 200 मिली एमिस्टर टॉप या टिल्ट या फोलिकुर/ओरियस को 200 लीटर पानी में प्रति एकड़ मौसम साफ होने पर स्प्रे करें.

बासमती के खेतों से फूट रॉट संक्रमित पौधों को उखाड़ कर नष्ट कर दें.

धान की फसल में कृंतक कीटों के प्रबंधन के लिए, शाम के समय सभी छिद्रों को ढक दें और अगले दिन इन ताजा छिद्रों के अंदर 6 इंच गहराई पर 10 -10 ग्राम जिंक फास्फाइड का चारा रखें.

कपास (Cotton)

कपास के खेत में सफेद मक्खी के आगे प्रसार से बचने के लिए कपास के खेत की मेड़, बंजर भूमि, सड़क के किनारे और सिंचाई चैनलों / नहरों पर उगने वाले खरपतवारों को खत्म करें. कपास पर सफेद मक्खी की नियमित निगरानी भी करनी चाहिए. लीफ कर्ल वायरस से संक्रमित पौधे को समय-समय पर उखाड़ कर नष्ट कर दें. बारिश के बाद, खेत में फफूंद के पत्ते के धब्बे दिखाई देते हैं, प्रति एकड़ 200 लीटर पानी का उपयोग करके 200 मिली एमिस्टर टॉप का छिड़काव करके फसल की रक्षा करें.

मक्का (Maize)

अनाज की फसल पर फॉल आर्मीवर्म का प्रबंधन करने के लिए, फसल पर कोराजन 18.5 एससी 0.4 मिली प्रति लीटर को पानी में मिलाकर छिड़काव करें. बता दें कि इसका प्रति एकड़ 120-200 लीटर पानी का प्रयोग करें.

बागवानी के लिए सलाह (Horticulture)

फसलों की साप्ताहिक अंतराल पर सिंचाई करें और पौधों में रोग में नियंत्रण के लिए 10 दिनों के अंतराल पर 250 मिलीलीटर फॉलिकूर या 750 ग्राम इंडोफिल एम 45 या ब्लिटोक्स 250 लीटर पानी में मिलाकर छिड़काव करें.

पशुपालन सलाह (Animal Husbandry)

संक्रमित पशुओं को स्वस्थ पशुओं से अलग रखा जाना चाहिए और किसी भी प्रतियोगिता आदि के लिए जानवरों को बाहर नहीं ले जाना चाहिए. डेयरी फार्म पर मच्छरों, मक्खियों और घुनों को नियंत्रित करने के लिए पर्याप्त उपाय करें. विटामिन के साथ ज्वरनाशक दवाओं के साथ सल्फा समूह एंटीबायोटिक दवाओं का प्रयोग करें.

English Summary: Punjab Advisory: Farmers will have to do this important work in September, then only profit will be available Published on: 01 September 2022, 05:04 PM IST

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