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गिर गाय पालें और कमायें लाखो

गाय का यूं तो पूरी दुनिया में ही काफी महत्व है, लेकिन भारत के बारे में बात की जाए तो पुराने समय से यह भारत की अर्थव्यवस्था की रीढ़ रही है। चाहे वह दूध का मामला हो या फिर खेती के काम में आने वाले बैलों का। दुधारू पशु होने के कारण यह बहुत उपयोगी घरेलू पशु है। गाय पालन ,दूध उत्पादन व्यवसाय या डेयरी फार्मिंग छोटे व बड़े स्तर दोनों पर सबसे ज्यादा विस्तार में फैला हुआ व्यवसाय है।

KJ Staff
cow
Cow Rearing

गाय का यूं तो पूरी दुनिया में ही काफी महत्व है, लेकिन भारत के बारे  में बात की जाए तो पुराने समय  से यह भारत की अर्थव्यवस्था की रीढ़ रही है. चाहे वह दूध का मामला हो या फिर खेती के काम में आने वाले बैलों का

दुधारू पशु होने के कारण यह बहुत उपयोगी घरेलू पशु है. गाय पालन ,दूध उत्पादन व्यवसाय या डेयरी फार्मिंग छोटे व बड़े स्तर दोनों पर सबसे ज्यादा विस्तार में फैला हुआ व्यवसाय है.लेकिन व्यवसाय की दृष्टि ज्यादातर पशुपालक देसी गाय पालन को घाटे को सौदा मानते है, लेकिन फैजाबाद से करीब 15 किलोमीटर दूर मकसूमगंज मगलची गाँव है

जहां पर पिछले चार वर्षो से राजेंद्र प्रसाद वर्मा देसी गाय  को पालकर अच्छा मुनाफा कमा रहे है. दूध ही नहीं बल्कि उससे बने उत्पादों को राजेंद्र ऑनलाइन और मॉल में बेच रहे है.

मगलची गाँव में राजेंद्र की आधा एकड़ में डेयरी बनी हुई है. शुरू मे इस डेयरी में तीन ही गिर गाय थी लेकिन आज इस डेयरी में 17 गाय है. राजेंद्र का कहना है की "खुद पालने के बाद हम दूसरों को भी यही सलाह देते है कि अगर डेयरी शुरू कर रहे है तो देसी गाय ही पालें.

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क्योंकि इनको पालने के कई फायदे है जो और गायों में कम है." राजेंद्र प्रसाद ने बताया, अभी रोजाना एक गाय से 15 से 20  लीटर दूध देती है. इनके बचे हुए दूध को इधर-उधर न बेचकर रोजाना घी तैयार करते है, जिसमें खुद की ब्रांडिंग करके बेचते हैं.  राजेंद्र गिर गाय के दूध के साथ-साथ घी, मट्ठा पनीर भी बेच रहे है.

लेखक - वर्षा

English Summary: Falling Cow Cures and Earns Millions Published on: 28 June 2018, 06:55 AM IST

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