भारत में दूध उत्पादन का कार्य तेजी से आगे बढ़ रहा है, क्योंकि भारत एक ऐसा देश हैं, जहां अधिकतर लोग पशुपालन का कारोबार करते हैं. खेती-बाड़ी और पशुपालन का करोबार एक ऐसा क्षेत्र है, जिसमें नुकसान बहुत ही कम देखने को मिलता है और कहीं अधिक मुनाफा भी प्राप्त होता है. इसी बीच दूध उत्पादन को लेकर एक बड़ी खबर आई है.
मिली जानकारी के अनुसार, इस बार तेलंगाना में दूध उत्पादन की लागत में वृद्धि पाई गई है. इसके चलते तेलंगाना में दूध की कीमत में बढ़ोत्तरी हुई है. मगर अब लोगों के बीच यह सवाल उठ रहा है कि क्या दूध की कीमत देश के हर राज्य में बढ़ सकती है?
इन वजहों से महंगा हो सकता है दूध (Milk Can Be Expensive Due To These Reasons)
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पशुआहार के रूप में इस्तेमाल किए जाने वाला कपास खल की कीमतों में 50 से 60 फीसदी दामों में वृद्धि पाई गयी है. जिसके चलते पशुओं को पौष्टिक आहार समय पर नहीं मिल रहा है. इस वजह से पशुओं में दूध उत्पादन की क्षमता कम हो रही है.
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कमोडिटी एक्सचेंज एनसीडीईएक्स पर 5 जनवरी को कपास खल का भाव 3300 रुपए प्रति क्विंटल दर्ज किया गया, जबकि पिछले साल 5 जनवरी को भाव 2100 रुपए के करीब था.
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इसके अलावा कपास खल की तरह सोया, सरसों और मूंगफली खल की कीमतों में भी बढ़ोतरी पायी गयी है. इस वजह से हरा चारा काफी महंगा हो गया है.
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कोरोना की वजह से दूध की सप्लाई भी काफी प्रभावित हुई है. दूध उत्पादकों के पास से दूध की उतनी खरीद नहीं हो पा रही है, जितनी पहले होती थी.
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गुजरात में दूध की कीमतें बढ़ी (Milk Prices Increased In Gujarat State)
बता दें कि देश की सबसे बड़ी डेयरी कंपनी गुजरात को-ऑपरेटिव मिल्क मार्केटिंग फेडरेशन यानि अमूल के मैनेजिंग डायरेक्टर आरएस ने बताया कि गुजरात में दूध उत्पादन नौ फीसद बढ़ा है. इसके अलावा देशभर में भी औसतन उत्पादन 5-6 फीसदी बढ़ा है.
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