बिहार के कृषि मंत्री मंगल पाण्डेय द्वारा आज कृषि भवन, पटना के सभागार में बिहार राज्य में नए कोल्ड स्टोरेज की स्थापना एवं कोल्ड स्टोरेज पर सौर ऊर्जा की संस्थापना हेतु लाभान्वितों के बीच अनुदान राशि की स्वीकृति पत्र का वितरण किया गया. कृषि मंत्री ने अपने सम्बोधन में कहा कि बिहार में बड़े पैमाने पर फल एवं सब्जियों की खेती की जाती है. विभागीय आँकड़ों के अनुसार बिहार में लगभग 3 लाख 29 हजार हेक्टेयर क्षेत्र में आलू की खेती की जाती है, जिसमें 87.90 लाख मीट्रिक टन आलू का उत्पादन होता है.
इसी तरह लगभग 9 लाख 10 हजार हेक्टेयर क्षेत्र में विभिन्न सब्जियों की खेती होती है, जिसमें 175 लाख मीट्रिक टन सब्जियों का उत्पादन होता है तथा लगभग 3 लाख 40 हजार हेक्टेयर क्षेत्र में फल की खेती की जाती है, जिसमें 45 लाख 34 हजार मीट्रिक टन फल का उत्पादन होता है. फल एवं सब्जियों के सुरक्षित भंडारण हेतु कोल्ड स्टोरेज की आवश्यकता होती है. राज्य में किसानों को अपने फल-सब्जियों को सुरक्षित भंडारण करने में परेशानी होती है, जिसके कारण किसानों को औने-पौने दाम में इसे बेचने को मजबूर होना पड़ता है.
उन्होंने कहा कि केन्द्र एवं राज्य की सरकार द्वारा किसानों को उनके फसल उत्पादों के समुचित भंडारण के लिए बड़े पैमाने पर आधारभूत संरचनाओं के निर्माण हेतु विभिन्न प्रकार की योजनाएं चलायी जा रही हैं. सरकार द्वारा विद्युतचालित नए कोल्ड स्टोरेज के साथ-साथ पूर्व से स्थापित कोल्ड स्टोरेज पर सौर ऊर्जा की संस्थापना के लिए भी अनुदान का प्रावधान किया गया है.
कृषि मंत्री ने कहा कि इसी प्रकार शीतगृहों पर सौर ऊर्जा की संस्थापना हेतु राज्य योजना के अंतर्गत सोलर पैनल की संस्थापना पर अधिकतम प्रति शीतगृह 35.00 लाख रुपये लागत व्यय अनुमानित किया गया है. इसके आलोक में लाभान्वितों को अनुमानित लागत व्यय 35.00 लाख रुपये पर सहायतानुदान 50 प्रतिशत अथवा अधिकतम 17.50 लाख रुपये तक दिया जाएगा.
कृषि मंत्री ने कहा कि कोल्ड स्टोरेज के नव निर्माण हेतु इज ऑफ डुईंग बिजनेस के तहत प्रक्रिया का सरलीकरण किया गया है. अब कोल्ड स्टोरेज निर्माण हेतु इच्छुक व्यक्तियों को कागजी कार्रवाईयों में किसी तरह की परेशानी का सामना नहीं करना पड़ेगा.
उन्होंने कहा कि इस वर्ष किसानों के हित में राज्य के अंदर आलू का बीज उत्पादन के लिए आलू के उन्नत प्रभेद के बीज का आवंटन केन्द्र सरकार से बिहार के कृषकों के लिए प्राप्त हुआ है. सरकार का प्रयास है कि किसानों को बीज से लेकर बाजार तक की व्यवस्था के साथ-साथ उनके फसल उत्पादों के लिए समुचित भंडारण की सुविधा उपलब्ध करायी जाये.
मंत्री ने कहा कि आधुनिकतम तकनीकों से युक्त कोल्ड स्टोरेज की स्थापना को प्रोत्साहित किया जाएगा. आवश्यकतानुसार मल्टी चैम्बर वाले कोल्ड स्टोरेज की स्थापना को बढ़ावा दिया जाएगा, ताकि एक ही स्थान पर विभिन्न प्रकार के फल-सब्जियों को संरक्षित किया जा सके.
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