अक्टूबर का महीना शुरू होते ही त्योहारों की लहर भी शुरू हो जाती है. हिंदू धर्म में करवा चौथ का त्योहार बहुत ही खास माना जाता है. धार्मिक मान्यताओं के अनुसार इस दिन सुहागिन महिलाएं अपने पति की लंबी आयु के लिए व्रत रखती है. बता दें कि करवा चौथ के व्रत को हिंदू धर्म में बहुत ही महत्वपूर्ण माना जाता है, इसलिए इस व्रत को न केवल सुहागन महिलाएं रखती हैं. बल्कि कुंवारी लड़कियां भी मनचाहा वर पाने के लिए रखती हैं. करवा चौथ के व्रत को बाकी सभी व्रत के मुकाबले बेहद कठिन माना जाता है, क्योंकि महिलाएं इस दिन पानी तक नहीं पीती है. यानी की यह व्रत निर्जला रखा जाता है.
आपकी जानकारी के लिए बता दें कि हर साल कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि के दिन करवा चौथ का व्रत रखा जाता है और इस बार हिंदू कैलेंडर के मुताबिक, करवा चौथ का व्रत 13 अक्टूबर 2022 दिन गुरुवार को पड़ रहा है. शास्त्रों के मुताबिक कल के दिन कई शुभ संयोग भी बन रहे हैं. करवा चौथ के दिन सर्वार्थ सिद्धि योग के साथ लक्ष्मी नारायण के शुभ योग भी बन रहे है. इसके अलावा कल से बुधादित्य योग भी बन रहा है. ऐसे में करवा चौथ का व्रत महिलाओं के लिए और भी फलदायक रहेगा. तो आइए इस लेख में हम करवा चौथ 2022 के शुभ मुहूर्त और पूजा विधि के बारे में जानते हैं.
करवा चौथ 2022 शुभ मुहूर्त
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चतुर्थी तिथि - 13 अक्टूबर 2022 के दिन सुबह 01 बजकर 59 मिनट से शुरू.
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चतुर्थी तिथि समाप्त - 14 अक्टूबर 2022 के दिन सुबह 03 बजकर 08 मिनट तक रहेगा.
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करवा चौथ पूजा का शुभ मुहूर्त - 13 अक्टूबर शाम के समय 5 बजकर 54 मिनट से लेकर 7 बजकर 09 मिनट तक रहने वाला है. इस दौरान सभी महिलाएं पूजा कर सकती हैं.
करवा चौथ की पूजा विधि:
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करवा चौथ के दिन सुबह जल्दी उठकर घर को स्वच्छ करने के बाद स्नान आदि करें.
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इसके बाद सूर्योदय से पहले सरगी ग्रहण करें और फिर दिनभर निर्जला व्रत रखें.
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धार्मिक मान्यताओं के अनुसार करवा चौथ के दिन महिलाएं दोपहर के समय एक साथ बैठकर करवा चौथ की कथा सुनती हैं.
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फिर चंद्रमा निकलने से पहले पूजा करना शुरू करें. इस दौरान भी महिलाएं करवा चौथ की कथा को दोबारा सुनती हैं.
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इसके बाद चंद्रमा को छलनी में दिया रखकर देखें.
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फिर महिलाएं चंद्रमा को अर्घ्य देकर पूजा करें.
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पूजा करने के बाद पति अपनी पत्नी को पानी पिलाकर व्रत को खोलते हैं.
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अंत में महिलाएं करवा चौथ पूजा की थाली को घर की बड़ी बुजुर्ग महिलाओं या फिर अपनी सास को देती हैं.
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