खरीफ सीजन (Kharif Season) चल रहा है, जिसमें ज्यादातर किसान अपने खेत में धान की रोपाई करना शुरू कर देते हैं. अगर आप धान की फसल (paddy crop) से अच्छी पैदावार प्राप्त करना चाहते हैं, तो आपको कुछ जरूरी बातों का ध्यान रखना चाहिए. इसके लिए कृषि वैज्ञानिकों ने भी जरूरी सूचना जारी की है.
खेत में पानी जमा रखें
कृषि वैज्ञानिकों का कहना है कि किसानों को खेत में धान की रोपाई (Transplantation of paddy) के 15 से 20 दिनों तक खेत में पानी जमा रखना चाहिए. ऐसा करने से फसल में खरपतवार आने की संभावना बेहद कम हो जाती है. इसके अलावा अपने खेत की मिट्टी को समतल करें, ताकि पानी की खपत कम लगें. वैज्ञानिकों का यह भी कहना है कि धान के बीज (Paddy seeds) का अच्छे से उपचारित करने के बाद रोपेंगे तो अधिक मात्रा में उत्पादन प्राप्त होगा.
लेजर लेवलर से खेत समतल बनाएं (Level the field with a laser leveler)
धान की रोपाई से पहले किसान अपने खेत में लेजर लेवलर लगाकर खेत की मिट्टी को समतल बनाएं. ऐसा करने से किसानों का समय बचेगा और अधिक पानी खर्च भी नहीं होगा. ये ही नहीं इस विधि से खेती के निचले हिस्से को मरने से बचाया जा सकता है और लंबे समय तक बेहतरीन उपज प्राप्त होती रहेगी.
मूंग व ढैंचा विधि (Moong and Dhincha Method)
धान की अच्छी पैदावार प्राप्त करने के लिए किसान को अपने खेत में खड़े ढैंचा एवं मूंग की फसल 43 से 50 दिनों की हो जाए, तो उन्हें खेत को अच्छे से जोत कर पानी लागाएं, ताकि खेत में हरी खाद (Green Manure) अच्छी से मिल सके और फिर जल्दी से धान की रोपाई की जा सके. आपकी जानकारी के लिए बता दें कि जिन खेत में ढैंचा एंव मूंग की जुताई हरी खाद से अच्छे से की गई हो, तो उस खेत में नत्रजन खाद की एक तिहाई मात्रा को कम कर दें.
खेत में यूरिया के इस्तेमाल से ऐसे बचें (Avoid using urea in the field like this)
मानसून आने के बाद किसान अपने खेत में धान की रोपाई करना शुरू कर सकते हैं. इसके लिए आप खेत में एक इंच से ज्यादा गहरी रोपाई नहीं करें और साथ ही एक ही स्थान पर दो-दो पौधे एक साथ रोपित करें, ताकि पौधों की संख्या कम ना हो. ऐसा करने से आप खेत में यूरिया के अतिरिक्त इस्तेमाल से बच सकते हैं.
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