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तेज पत्ते की खेती में अच्छे उत्पादन के लिए फसल को इन रोगों से रखें दूर, ऐसे करें फसल की सुरक्षा

तेज पत्ता की बाजार में बढ़ती मांग के कारण खेती भी मुनाफे का सौदा साबित हो रही है. तेज पत्ता की खेती करना बेहद ही सरल होने के साथ ही काफी सस्ता भी हो गया है. इसकी खेती से किसान कम लागत में अधिक मुनाफा कमा सकते हैं. लेकिन इसकी उन्नत खेती के साथ ही फसल की सुरक्षा का भी ध्यान रखना जरूरी है.

राशि श्रीवास्तव
तेज पत्ता फसल की सुरक्षा
तेज पत्ता फसल की सुरक्षा

तेज पत्ता की बाजार में बढ़ती मांग के कारण खेती भी मुनाफे का सौदा साबित हो रही है. तेज पत्ता की खेती करना बेहद ही सरल होने के साथ ही काफी सस्ता भी हो गया है. इसकी खेती से किसान कम लागत में अधिक मुनाफा कमा सकते हैं. लेकिन उन्नत खेती के साथ ही फसल की सुरक्षा का भी ध्यान रखना जरूरी होता है. रोग से बचाव के साथ ही फसल के लिए सही उर्वरक का इस्तेमाल करना होता है. तो आइये आपको बताते हैं तेज पत्ता की फसल को कैसे सुरक्षित रखकर अच्छा उत्पादन कर सकते हैं. 

तेजपत्ता की सुरक्षा

तेज पत्ते के पौधों को पाले से बचाने की बेहद जरूरत होती है. साथ ही तेज बारिश से भी पौधों को बचाना चाहिए. इन पौधों पर कीटों का प्रकोप भयंकर पड़ता हैइसलिए पौधो पर नीम के तेल का छिड़काव समय-समय पर करते रहना चाहिए. इसके साथ ही समय-समय पर छटाई का काम भी करते रहना जरूरी है.

तेज पत्ते की खेती में कीट और रोग

तेज पत्ते की खेती में पाए जाने वाले आम कीट और कीटएफिड्स,  हार्ड शेल्ड स्केल और माइट्स हैं. नीम का तेल लगाने से इनसे बचा जा सकता है. इन कीड़ों के कारण होने वाले ब्लॉक स्पॉट को नियंत्रित करने के लिए कई अनुप्रयोगों की भी जरूरत हो सकती है. एक फंगल संक्रमण से भी पत्ती पर धब्बे बन सकते हैंइस मामले में प्रभावित पत्तियों को नष्ट कर दें और आगे के संक्रमण और काले धब्बों को नियंत्रित करने के लिए सल्फर स्प्रे लगाएं.

तेजपत्ता की खेती में खरपतवार नियंत्रण-

खेत में निराई-गुड़ाई की आवश्यकता होती है. भूमि किसी भी खरपतवार से मुक्त होनी चाहिए. किसी भी खरपतवार को नियंत्रित करने के लिए खरपतवारनाशी का प्रयोग कर सकते हैं. 

तेज पत्ते की खेती में अंतर फसल-

अतिरिक्त आय के लिएकिसान शुरुआती एक से सालों के लिए सब्जियों या दालों के साथ अंतर फसल का अभ्यास कर सकते हैं. बाद में किसी भी छाया प्रिय फसल की खेती की जा सकती है.

तेज पत्ते की खेती में कटाई-

कुछ सालों में पत्तियां कटाई के लिए तैयार हो जाएंगीबिना क्षतिग्रस्त और स्वस्थ पत्तियों को हाथ से चुनना चाहिए.

पत्तों की तुड़ाई

तेजपत्ता का पौधा एक सदाबहार पौधा होता हैजिसमें पूरे साल पत्ते निकलते रहते हैंपत्तो की तुड़ाई के बाद इन्हे सुखाकर उपयोग कर सकते हैं

ये भी पढ़ेंः पपीते की बागवानी की वैज्ञानिक विधि

उत्पादन- 

उपज मिट्टी की नमी धारण क्षमता और मौसम की स्थिति पर निर्भर करती है. एक हेक्टेयर में लगे पौधों से लगभग टन पत्तियों का उत्पादन किया जा सकता हैं.

English Summary: For good production in bay leaf farming, keep the crop away from these diseases, protect the crop in this way Published on: 03 January 2023, 09:31 AM IST

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