दिवाली के बाद लगातार सब्जियों के दाम बढ़त जा रहे हैं. जिसके कारण आम आदमी परेशान है. प्याज और टमाटर का हाल पूछने का मतलब आदमी को बेहला करने जैसा हो गया है. सब्जियों को लेकर व्यापारियों का कहना यही है कि मानसून के कारण प्याज और टमाटर महंगें हो गये हैं, लेकिन मध्यप्रदेश के हालात कुछ अलग ही तस्वीर बयां कर रही है.
कुछ दिन पहले तक जो प्याज शतक लगाकर 100 रूपये प्रति किलो हो गया था आज वो राज्य में 30 से 40 रूपये हो गया है. 10 दिन से कम के अंदर भावों में आई इतनी बड़ी गिरावट प्याज की काला बाजारी की तरफ संकेत करती है. दरअसल बढ़ते हुए प्याज के दामों को देखते हुए यहां स्टेट गवर्नमेंट ने सरकारी काउंटर लगाकार प्याज बेचना शुरू किया. सरकारी काउंटर पर प्याज 50 रूपये प्रति किलो बेचे जा रहे हैं. जिसके चलते अचानक बाजार में प्याज के दाम 80-90 रूपये से घटकर 30 से 45 रूपये हो गये है.
बारिश ने बढ़ाया प्याज का दाम
बता दें कि सितम्बर-अक्टूबर माह की भारी बारिश ने महाराष्ट्र व मध्य प्रदेश में प्याज को भारी नुकसान पहुंचाया था. जिस कारण वर्तमान में प्याज के दाम बढ़े हुए हैं. दिन-प्रतिदिन बढ़ते हुए प्याज के दाम दिल्ली में उछलकर 100 रूपये किलो तक हो गये थे. जिस कारण सरकार हरकत में आ गयी.
जमाखोरों पर है आयकर की नजर
प्याज की जमाखोरी पर आयकर विभाग नजर बनाये हुए है. पिछले दिनों ही जमाखोरी की खबर पर एक्शन लेते हुए आयकर विभाग ने देशव्यापी स्तर पर छापेमारी शुरू की थी. इस छापेमारी में बड़े स्तर पर ऐसे व्यापारी एवं कारोबारी आयकर के हत्थे चढ़े थे जिन्होनें अवैध तौर पर प्याज का भंडारण कर रखा था.
दोषियों पर होगी का कार्रवाई
आयकर विभाग पहले ही कह चुकी है कि प्याज की जमाखोरी को लेकर विभाग गंभीर है और बनाये हुए है. विभाग ने कहा है कि दाषियों पर सख्त से सख्त कानूनी कार्रवाई की जायेगी.
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