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Republic Day 2023: इस रिपब्लिक डे पर क्या है खास

इस बार गणतंत्र दिवस परेड में बीएसएफ ऊंट सवार दस्ते में पहली बार महिलाएं शामिल होती नजर आएंगी, जो पुरुष जवानों के साथ परेड में हिस्सा लेंगी.

रवींद्र यादव
Republic Day 2023
Republic Day 2023

देश का संविधान 26 जनवरी 1950 को लागू किया गया था. इसे बनने में 2 वर्ष 11 माह और 18 दिन लगे थे. 1946 में संविधान सभा का गठन किया गया था. सन् 1929 को पंडित जवाहरलाल नेहरू की अध्यक्षता में कांग्रेस द्वारा आयोजन सभा में आम सहमति से इस बात का ऐलान किया गया कि अंग्रेजी सरकार, भारत को 26 जनवरी 1930 तक डोमिनियन स्टेट का दर्जा दे. इस दिन पहली बार भारत ने अपना स्वतंत्रता दिवस मनाया था.

गणतंत्र दिवस कार्यक्रम

गणतंत्र दिवस का कार्यक्रम आम तौर पर 24 जनवरी से राष्ट्रीय वीरता पुरस्कार पाने वाले बच्चों के नाम का ऐलान करने के साथ शुरू होता है, लेकिन इस बार यह 23 जनवरी को नेताजी सुभाषचंद्र बोस की जयंती से शुरू होगा. हर वर्ष 25 जनवरी की शाम राष्ट्रपति देश की जनता को संबोधित करते हैं और 26 जनवरी को राष्ट्रपति द्वारा राष्ट्रीय ध्वज को फहराने के साथ गणतंत्र दिवस के मुख्य कार्यक्रमों का आयोजन  किया जाता है.

इस दिन कर्तव्यपथ पर परेड और विभिन्न राज्यों की अपनी-अपनी झाकियां निकाली जाती हैं. वहीं 29 जनवरी को रायसीना हिल्स पर बीटिंग द रिट्रीट कार्यक्रम का आयोजन होता है. इस दौरान तीनों सेनाओं के बैंड शानदार धुन के साथ मार्च पास्ट करते हैं और इसी के साथ गणतंत्र दिवस का कार्यक्रम संपन्न होता है.

क्या है इस बार खास

इस बार गणतंत्र दिवस परेड में बीएसएफ ऊंट सवार दस्ते में पहली बार महिलाएं शामिल होती नजर आएंगी. सीमा सुरक्षा बल की ऊंट सवार टुकड़ी में पहली बार महिला गार्ड और पुरुष जवान एक साथ परेड में हिस्सा लेंगे. आपको बता दें कि बीएसएफ जवानों के ऊंट की टुकड़ी  साल 1976 से गणतंत्र दिवस समारोह का हिस्सा रही है और इस बार महिलाएं भी इसका हिस्सा होंगी.

कौन है मुख्य अतिथि

इस साल गणतंत्र दिवस में इजिप्ट (मिस्र) के राष्ट्रपति अब्देल फतेह अल सिसी मुख्य अतिथि के तौर पर शामिल होंगे. यह पहली बार है जब मिस्र के राष्ट्रपति देश के गणतंत्र दिवस कार्यक्रम में मुख्य अतिथी के तौर पर शामिल होंगे.

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बता दें कि पिछले दो साल से कोरोना महामारी के कारण किसी भी देश के नेता को मुख्य अतिथि के तौर पर आमंत्रित नहीं किया गया था. पूरे इतिहास में अब तक ऐसा चार बार हुआ है सन् 1952, 1953 1966 और 2021 में किसी को निमंत्रण नहीं भेजा गया था. हांलाकि पिछले साल 2022 को ब्रिटेन के पूर्व प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन को निमंत्रण भेजा गया था परंतु कोरोना की तीसरी लहर के कारण उनका दौरा रद्द कर दिया गया था.

English Summary: What is special on this Republic Day Published on: 18 January 2023, 02:50 PM IST

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