देहरादून जिले में दूध उत्पादन और खपत की बात करें, तो दोनों बिल्कुल विपरीत हैं. वहीं, एक तरफ दूध उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए राज्य सरकार अनेको प्रयास कर रही है, तो वहीं दूसरी तरफ उत्पादन को बढ़ावा देने के सारे सरकारी दावे हवाई साबित हो रहे हैं.
लाख कोशिश के बावजूद खपत के अनुरूप दूध का उत्पादन नहीं हो पा रहा है. यदि पश्चिमी यूपी से दूध ना आए, तो राजधानी के लोगों को दूध तक नहीं मिल पाएगा. दूध जैसी आवश्यक चीज़ें अगर नहीं मिल पा रही है, तो ये पूरे राज्य और सरकार के लिए मुश्किल खड़ी करने वाली बात है.
दूध उत्पादन को बढ़ावा दिया और खपत की पूर्ति समय रहते की जा सके, इसको लेकर सरकार की ओर से गंगा गाय योजना और दूध में प्रति लीटर तीन से चार रुपये प्रोत्साहन राशि की भी घोषणा की गई थी. इस घोषणा के बाद शुरूआती महीनों में इसका लाभ किसानों को मिला, लेकिन योजना के लड़खड़ाने से खपत के अनुरूप उत्पादन भी नहीं हो पाया.
सूत्रों से मिले आकड़ों के मुताबिक, जिले में लगभग 143 दुग्ध विकास समितियां सक्रिय नहीं हैं. वहीं, 255 समितियां ही सही तरीके से काम कर रही हैं. दूध उत्पादन को बढ़ावा देने के प्रयास किए जा रहे हैं.
क्या करे प्रदेश सरकार?
यूपी की तर्ज पर उत्तराखंड में भी कामधेनु योजना की शुरुआत की थी. हालांकि, उत्तराखंड में नाबार्ड के तहत डेयरी के लिए छह लाख रुपये तक के लोन पर सामान्य किसान के लिए 25 फीसदी और एससी-एसटी के लिए 33 फीसदी अनुदान का प्रावधान भी था. जानकारी के अभाव में किसानों ने इसका भी लाभ नहीं उठाया. वहीं बदलते समय और बढ़ती मांग को देखते हुए पुष्कर सिंह धामी ने एक सभा में इस विषय पर चर्चा कर सभी का ध्यान आकर्षित किया.
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आपको बता दें कि देहरादून में सभा को संबोधित करते हुए धामी ने कहा, "मैं वादा करता हूं कि उत्तराखंड अपना 25 वां वर्ष मनाने तक भारत में दूध उत्पादन में नंबर एक राज्य होगा. दूध मूल्य प्रोत्साहन योजना से लगभग 53,000 लोग लाभान्वित होने जा रहे हैं."इसके अलावा उन्होंने कहा कि यह राशि डायरेक्ट बैंक ट्रांसफर (डीबीटी) के माध्यम से सीधे लाभार्थियों के खातों में जाएगी.
मुख्यमंत्री ने कहा, 'प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सबका साथ, सबका विकास और सबका विश्वास के मंत्र के साथ हमारी सरकार हर क्षेत्र में लगातार आगे बढ़ रही है. धामी ने यह भी बताया कि उत्तराखंड में 500 दूध बिक्री केंद्र खोलने के लिए राज्य सरकार 444.62 करोड़ रुपये खर्च करेगी.
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