पिछले साल प्री-मानसून सीज़न के दौरान उत्तरी राज्यों में आंधी/धूल के तूफान ने काफी प्रभावित किया था. इससे लगभग 200 लोगों की जानें भी गईं थीं. इसके मद्देनजर भारत मौसम विज्ञान विभाग अप्रैल 2019 तक आंधी/बिजली की भविष्यवाणी के लिए एंड-टू-एंड भविष्यवाणी प्रणाली लागू करेगा.
केंद्रीय विज्ञान और प्रौद्योगिकी, पृथ्वी विज्ञान और पर्यावरण और वन और जलवायु परिवर्तन मंत्री डॉ. हर्षवर्धन ने नई दिल्ली में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ ट्रॉपिकल मौसम विज्ञान (IITM) और आईएमडी, गरज/बिजली के लिए भविष्यवाणी उपकरण विकसित कर रहे हैं. IITM पुणे ने पहले से ही देश भर में 48 लाइटनिंग सेंसर लगाए हैं जो वास्तविक समय पर आंधी/बिजली की गतिविधियों का पता लगा सकते हैं. IITM पुणे ने प्रभावित क्षेत्र में बिजली गतिविधि की अलर्ट देने के लिए "DAMINI" नामक एक मोबाइल ऐप भी विकसित किया. DAMINI ऐप Google प्ले स्टोर्स पर उपलब्ध है.
डॉ. वर्धन ने यह भी बताया कि वर्तमान में IITM पुणे और आईएमडी, किसानों और शहर में मौसम के पूर्वानुमान के लिए मोबाइल ऐप के साथ एक नई वेबसाइट विकसित कर रहे हैं. ये नए उपकरण आईएमडी को समय पर मौसम पूर्वानुमान और चेतावनियों को प्रसारित करने में मदद करेंगे. नई वेबसाइट और मोबाइल ऐप उपयोगकर्ताओं के लिए और अधिक प्रभावी ढंग से काम करने के लिए जून 2019 तक लॉन्च के लिए तैयार होंगे.
केरल सरकार के विशिष्ट अनुरोध पर, आईएमडी राज्य में मौसम की गतिविधियों पर नजर रखने के लिए वर्षा-गेज सहित 100 नए स्वचालित मौसम स्टेशन स्थापित करेगा.
इस तकनीक के द्वारा मौसम विभाग को पहले ही पूरी जानकारी प्राप्त होती रहेगी. जिससे वह भविष्य में आने वाले खतरे को पहले ही भांप लेंगे.
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