राधा मोहन सिंह ने इसके बाद नेशनल एग्रिकल्चरल साइंस कॉम्प्लेक्स, पूसा में सोसायटी ऑफ पेस्टीसाइड साइंस इंडिया के कार्यक्रम में हिस्सा लिया। इस कार्यक्रम में केंद्रीय कृषि मंत्री ने कहा कि फसल के विभिन्न रोगों और कीटों ने खाद्य उत्पादन पर गंभीर प्रभाव डाला है। इन कीटों तथा बीमारियों के कारण वैश्विक स्तर पर फसल उत्पादन में 15 से 25 प्रतिशत प्रतिवर्ष तक की कमी हो रही है। यह अनुमान है कि कृषि उत्पादन मे विभिन्न स्तरों तथा भंडारण के दौरान कीटों, बीमारियों,खरपतवार, चूहों, पक्षियों और निमेटोड्स आदि के कारण कुल फसल उत्पादन का 35 प्रतिशत नष्ट हो जाता है। कीटनाशकों की खपत में भारत दुनिया में 10वें स्थान पर है और यह कृषि रसायनों (कीटनाशकों) का सबसे कम खपत करने वाला देश है।
पहले कीटनाशकों की प्रयोग दर 2 से 5 कि ग्राम. प्रति हैक्टेयर थी जो घटकर 100 से 200 ग्राम प्रति हैक्टयर तक आ गयी है। पिछले कुछ सालों में कीटनाशकों के अवेशष कई फसलों में पाये जाने के कारण कृषि उत्पादों के निर्यात पर प्रभाव पड़ा है। इसलिए इनके मानीटरिंग की आवश्यकता है।
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