महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना (मनरेगा) के एपीओ को हटाने के लिए उत्तर प्रदेश के पीलीभीत जिले के ग्राम प्रधान धरने पर बैठ गएं. नाराज प्रधानों ने ब्लॉक कार्यालय के गेट पर ताला जड़ दिया और नारेबाजी करने लगे.
मामले की सूचना पर पीलीभीत के विधानसभा पूरनपुर के विधायक, एसडीएम और सीओ मौके पर पहुंच गए. विधायक के चार दिन में एपीओ के हटाने के आश्वासन पर प्रधानों ने धरना समाप्त किया.
ये है पूरा मामला
पूरनपुर ब्लॉक में तैनात मनरेगा के अतिरिक्त कार्यक्रम अधिकारी (एपीओ) आदर्श कुमार और टांडा ग्राम पंचायत की प्रधान पूजा देवी के पति धर्मपाल के बीच 10 नवंबर को हाथापाई हुई थी. इसका वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था. एपीओ को हटाने की मांग से संबंधित ज्ञापन 11 नवंबर को प्रधानों ने एसडीएम को सौंपा था. सोमवार को प्रधान संगठन के जिलाध्यक्ष नरेश पाल सिंह की मौजूदगी में सुबह-सुबह ही प्रधान ब्लॉक पर पहुंच गए.
एपीओ के न हटाए जाने पर नाराज प्रधानों ने ब्लॉक के गेट पर ताला लगा दिया. सूचना पर विधायक बाबूराम पासवान, एसडीएम आशुतोष गुप्ता और सीओ ज्योति यादव पहुंच गईं. अधिकारियों द्वारा समझाने के बावजूद प्रधान एपीओ को हटाने की मांग पर अड़े रहे. विधायक द्वारा चार दिन का आश्वासन देने के बाद प्रधानों ने धरना समाप्त किया
प्रधानों की सीओ से हुई नोंकझोंक
विधायक के आश्वासन के बावजूद कई प्रधान धरना समाप्त करने के लिए राजी नहीं हुए. सीओ ने प्रधानों से धरने की अनुमति लेने की बात कही. इस पर प्रधान संगठन के लोग भड़क गए. तीखी नोंकझोंक के बाद प्रधानों ने पहले से ही प्रशासन को जानकारी देने की बात कही.
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एपीओ को ब्लॉक परिसर में न घुसने की चेतावनी
धरना देने के लिए जिले की कई ग्राम पंचायतों से ग्राम प्रधान पहुंचे थे. प्रधानों ने जिलाधिकारी को भी फोन कर एपीओ को हटाने की मांग रखी है. इस दौरान प्रधानों ने चार दिन तक एपीओ को ब्लॉक परिसर में न घुसने की चेतावनी दी है.
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