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भूमिहीन कृषि मजदूरों को मिलेगा ₹6000 प्रति वर्ष, जानें- आवेदन प्रक्रिया और योग्यता

भारत एक कृषि प्रधान देश है और छत्तीसगढ़ के ग्रामीण नागरिक अपने जीविका के लिए कृषि श्रमिकों पर निर्भर हैं. लेकिन जहां छत्तीसगढ़ में खरीफ सीजन में ही कृषि श्रम के पर्याप्त अवसर होते हैं, वहीं रबी सीजन में कृषि श्रमिकों के लिए पर्याप्त अवसर उपलब्ध नहीं होते हैं. इसी को ध्यान में रखते हुए छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा 'राजीव गांधी ग्रामीण भूमिहीन कृषि मजदूर न्याय योजना' शुरू की गई है.

रुक्मणी चौरसिया
रुक्मणी चौरसिया
Agriculture News
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भारत एक कृषि प्रधान देश है और छत्तीसगढ़ के ग्रामीण नागरिक अपने जीविका के लिए कृषि श्रमिकों पर निर्भर हैं. लेकिन जहां छत्तीसगढ़ में खरीफ सीजन में ही कृषि श्रम के पर्याप्त अवसर होते हैं, वहीं रबी सीजन में कृषि श्रमिकों के लिए पर्याप्त अवसर उपलब्ध नहीं होते हैं. इसी को ध्यान में रखते हुए छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा 'राजीव गांधी ग्रामीण भूमिहीन कृषि मजदूर न्याय योजना' शुरू की गई है.

CMO छत्तीसगढ़ ने ट्वीट कर यह जानकारी दी है की इस योजना का लाभ इसी वित्तीय वर्ष से मिलना शुरू हो जायेगा.

राजीव गांधी ग्रामीण भूमिहीन कृषि मजदूर न्याय योजना के लाभ

  • छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा राजीव गांधी ग्रामीण भूमिहीन कृषि मजदूर न्याय योजना शुरू की गई है.

  • इस योजना के माध्यम से भूमिहीन खेतिहर मजदूर परिवारों को वित्तीय सहायता प्रदान की जाती है.

  • इसकी वित्तीय सहायता ₹6000 प्रति वर्ष होती है.

  • यह आर्थिक सहायता अनुदान के रूप में खेतिहर मजदूर के परिवार की पहचान कर प्रदान की जाती है.

  • यह योजना वर्ष 2021 से लागू हो गयी है.

  • इस योजना का क्रियान्वयन राज्य स्तर पर भूमि निदेशक के माध्यम से या जिला स्तर पर जिला कलेक्टर के माध्यम से किया जायेगा.

  • यह सहायता राशि परिवार के मुखिया को प्रदान की जाएगी.

  • इस योजना का लाभ लेने के लिए आपको आधिकारिक वेबसाइट पर अपना पंजीकरण कराना होगा.

  • परिवार के मुखिया की मृत्यु के बाद उक्त परिवार द्वारा नया आवेदन प्रस्तुत करना भी अनिवार्य होगा.

गौरतलब है कि छत्तीसगढ़ सरकार की राजीव गांधी ग्रामीण भूमिहीन कृषि मजदूर न्याय योजना के तहत अब तक राज्य के विभिन्न जिलों में योजना के तहत पंजीकरण के लिए 2 लाख 58 हजार 846 से अधिक आवेदकों ने आवेदन किया है.

ग्रामीण भूमिहीन खेतिहर मजदूर न्याय योजना के लाभार्थी

चरवाहा, डींग, लोहार, मोची, नाई, धोबी, पुजारी, पौनी पसरी प्रथा से जुड़े परिवार, सरकार द्वारा समय-समय पर निर्यात किये जाने वाले वनोपज संग्राहक एवं अन्य वर्ग

इसे भी पढ़ें: पीएम किसान योजना का आवेदन रिजेक्ट होने पर क्या करें, पढ़िए पूरी जानकारी

राजीव गांधी ग्रामीण भूमिहीन कृषि मजदूर न्याय योजना के लिए पात्रता

  • आवेदक छत्तीसगढ़ का स्थायी निवासी होना चाहिए.

  • आवेदक भूमिहीन होना चाहिए.

  • जिस व्यक्ति के पास कोई कृषि भूमि नहीं है और उसे अपनी आजीविका के लिए शारीरिक श्रम करना पड़ता है, वह इस योजना के लिए पात्र है.

  • आवेदक के परिवार के किसी भी सदस्य के पास कृषि भूमि भी नहीं होनी चाहिए.

  • यदि परिवार के मुखिया के पास अपने माता या पिता के नाम कृषि भूमि है और आने वाले समय में वह कृषि भूमि परिवार के मुखिया को उपलब्ध होगी, तो ऐसी स्थिति में वह व्यक्ति इस योजना का लाभ लेने के लिए पात्र नहीं है.

यदि परिवार के मुखिया के पास आवासीय भूमि है तो वह इस योजना का लाभ प्राप्त कर सकता है. वहीं, राजीव गांधी ग्रामीण भूमिहीन कृषि मजदूर न्याय योजना की आधिकारिक वेबसाइट पर जाकर आप आवेदन कर इस योजना का लाभ उठा सकते हैं.

English Summary: Landless agricultural laborers will get ₹ 6000 per year, know- application process and eligibility Published on: 15 November 2021, 01:45 IST

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