
उत्तर प्रदेश सरकार ने किसानों के लिए फार्मर रजिस्ट्री (Farmer Registry) को अनिवार्य कर दिया है. अब पीएम किसान सम्मान निधि समेत अन्य कृषि योजनाओं का लाभ लेने के लिए किसानों को फार्मर रजिस्ट्री कराना आवश्यक होगा. सरकार का मानना है कि इस रजिस्ट्री से सरकारी योजनाओं का लाभ सही और वास्तविक किसानों तक पहुंचेगा, जिससे कृषि क्षेत्र को मजबूती मिलेगी. रजिस्ट्री प्रक्रिया को सरल और डिजिटल बनाया गया है, ताकि किसान आसानी से इसका लाभ उठा सकें.
किसान अपने नजदीकी पंचायत भवन में जाकर या सरकार द्वारा संचालित पोर्टल और मोबाइल ऐप के माध्यम से अपनी रजिस्ट्री कर सकते हैं. इसके अलावा जन सुविधा केंद्रों पर भी निर्धारित शुल्क देकर रजिस्ट्री कराई जा सकती है. ऐसे में आइए इस खबर के बारे में विस्तार से जानते हैं-
फार्मर रजिस्ट्री से किसानों को होंगे कई फायदे
फार्मर रजिस्ट्री से किसानों को विभिन्न योजनाओं का लाभ सरल और पारदर्शी तरीके से मिलेगा. सरकार द्वारा दी जाने वाली सब्सिडी सीधे किसानों के खाते में पहुंचेगी. इसके अलावा, किसानों को बार-बार ई-केवाईसी कराने की जरूरत नहीं पड़ेगी. इस रजिस्ट्री के माध्यम से किसान अधिकतम दो लाख रुपये तक का कृषि ऋण डिजिटल केसीसी (Kisan Credit Card) के तहत बिना किसी अतिरिक्त दस्तावेज़ के प्राप्त कर सकते हैं. फसल बीमा, कृषि ऋण, बीज, खाद और अन्य सरकारी योजनाओं का लाभ भी किसानों को आसानी से मिल सकेगा.
कैसे करें फार्मर रजिस्ट्री?
यूपी सरकार ने फार्मर रजिस्ट्री प्रक्रिया को बेहद आसान बना दिया है. किसान निम्नलिखित तरीकों से अपनी फार्मर रजिस्ट्री करा सकते हैं:
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ऑनलाइन पोर्टल और मोबाइल ऐप के माध्यम से: किसान स्वयं सरकार द्वारा जारी वेब पोर्टल पर जाकर या 'Farmer Registry UP' मोबाइल ऐप के जरिए अपनी रजिस्ट्री कर सकते हैं.
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जन सुविधा केंद्र: किसान अपने नजदीकी जन सुविधा केंद्र पर जाकर निर्धारित शुल्क देकर फार्मर रजिस्ट्री करा सकते हैं.
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पंचायत सहायक या लेखपाल के माध्यम से: ग्राम पंचायतों में पंचायत सहायक, लेखपाल और प्राविधिक सहायक (कृषि) की मदद से भी किसान अपनी रजिस्ट्री कर सकते हैं.
मोबाइल से किसान रजिस्ट्री कैसे करें? (farmer registry up mobile se kaise kare)
मोबाइल से किसान रजिस्ट्री (Farmer Registry) करने के लिए, आपको सबसे पहले "फार्मर रजिस्ट्री यूपी" ऐप डाउनलोड करना होगा, फिर साइन-अप करें, आधार नंबर और अन्य जानकारी भरें, और अंत में जमीन के विवरण के साथ सबमिट करें.
जरूरी दस्तावेज़
फार्मर रजिस्ट्री कराने के लिए किसानों के पास निम्नलिखित दस्तावेज़ होना आवश्यक है:
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खतौनी (भूमि का स्वामित्व प्रमाण)
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आधार कार्ड
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आधार से लिंक मोबाइल नंबर (OTP प्राप्त करने के लिए)
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गाटा/खतौनी संख्या की जानकारी
सरकारी योजनाओं में पारदर्शिता बढ़ेगी
इस पहल का मुख्य उद्देश्य किसानों को सरकारी योजनाओं का अधिकतम लाभ पारदर्शी तरीके से प्रदान करना है. सरकार का मानना है कि इस रजिस्ट्री से किसानों से जुड़ी सभी योजनाओं का डेटा एक प्लेटफॉर्म पर उपलब्ध होगा, जिससे प्रशासनिक कार्यों में भी आसानी होगी. खासतौर पर पीएम किसान सम्मान निधि योजना में फर्जी लाभार्थियों को हटाने और सही किसानों तक सहायता पहुंचाने में यह पहल कारगर साबित होगी.
फसली ऋण और बीमा का लाभ मिलेगा
फार्मर रजिस्ट्री से किसानों को फसल बीमा और आपदा राहत के अंतर्गत त्वरित मुआवजा मिलेगा. यदि किसी किसान की फसल प्राकृतिक आपदा के कारण नष्ट होती है, तो रजिस्ट्री के जरिए उन्हें तुरंत बीमा का लाभ मिल सकेगा. इसके अलावा, कृषि ऋण लेने में भी आसानी होगी और किसानों को बिना किसी परेशानी के बैंक से ऋण प्राप्त होगा.
खाद और उर्वरकों की उपलब्धता होगी आसान
फार्मर रजिस्ट्री होने के बाद किसान आसानी से यूरिया, डीएपी और अन्य आवश्यक खाद खरीद सकेंगे. सब्सिडी का लाभ सीधे उनके बैंक खाते में ट्रांसफर किया जाएगा, जिससे किसानों को बाजार में खाद खरीदते समय दिक्कत नहीं होगी.
अनाज बिक्री में मिलेगा लाभ
किसान अपनी उपज को न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) पर सरकारी केंद्रों पर आसानी से बेच सकेंगे. इससे बिचौलियों की भूमिका कम होगी और किसानों को उनके उत्पाद का उचित मूल्य प्राप्त होगा.
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