लोकसभा के चुनावों से पहले केंद्र की मोदी सरकार ने गरीब कामगारों को बेहद बड़ा तोहफा दे दिया है. दरअसल, वित्त मंत्री पीयूष गोयल ने बजट 2019-20 में असंगठित क्षेत्रों के मजदूरों के लिए एक मेगा पेंशन योजना की घोषणा की है. उन्होंने बजट में प्रधानमंत्री श्रमयोगी मानधन योजना का ऐलान करते हुए कहा है कि 100 रूपये के मासिक योगदान पर कामगारों को 60 साल की आयु के बाद हर महीने 3000 रूपये की मासिक पेंशन मिलेगी. इसके तहत असंगठित क्षेत्र के 10 करोड़ कामगारों को सेवानिवृत्त हो जाने के बाद एक न्यूनतम पेंशन की गारंटी प्रदान की जाएगी.
घरेलू कामगार होंगे लाभान्वित
इस स्कीम का फायदा असंगठित क्षेत्र में काम करने वाले ऐसे मजदूरों को मिलेगा जिनकी मासिक आमदनी 15 हजार रूपये से कम है. बजट में एलान किए गए केंद्र सरकार के इस कदम से घरेलू नौकरों, नौकरानियों, ड्राइवरों, प्लंबर, बिजली का काम करने वाले कामगारों को सीधा पेंशन का फायदा होने की उम्मीद है जो कि इस स्कीम के तहत 15 हजार की सैलरी से कमाई कर पाते हों.
असंगठित क्षेत्र के मजदूरों को होगा फायदा
बजट पेश करते हुए वित्त मंत्री गोयल ने कहा कि इस योजना से 10 करोड़ कामगारों को सीधा लाभ होगा और यह अगले पांच सालों में असंगठित क्षेत्र के लिए विश्व की सबसे बड़ी पेंशन योजना बन सकती है. बता दें कि भारत में करीब 50 करोड़ की वर्कफोर्स है जिनमें से 90 प्रतिशत हिस्सा इस वर्कफोर्स का असंगठित क्षेत्र में काम करता है. इस तरह के कामगारों को किसी भी तरह से ना तो वेतन न्यनूतम और अन्य सुविधाओं की गांरटी भी नहीं मिल पाती है. सरकार को उम्मीद है इस तरह की स्कीम के बजट में एलान हो जाने से असंगठित क्षेत्र में काम करने वाले मजदूरों को काफी ज्यादा फायदा होगा.
किशन अग्रवाल, कृषि जागरण
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