 
            खेती के बदलते स्वरुप को देखते हुए किसान भी अब नई तकनीकों का सहारा ले रहा है. खेती को उन्नत बनाने के लिए किसान हर संभव प्रयास करता है. आधुनिक तकनीक में अब किसान ड्रोन का इस्तेमाल करने लगे हैं. इस उपकरण के इस्तेमाल को बढ़ावा देने के लिए केंद्र और राज्य सरकार किसानों को अनुदान भी दे रही है. ऐसे में किसान इस ड्रोन तकनीक का इस्तेमाल कर अच्छी तकनीकों को आजमाकर बेहतर उत्पादन कर पा रहे हैं. ड्रोन नए जमाने की तकनीक है, जो किसान इस तकनीक का इस्तेमाल कर रहे हैं, उनके लिए खेती बेहद आसान हो जाती है. दुनियाभर में पिछले कई सालों से ड्रोन का उपयोग बढ़ रहा है.
सरकार दे रही बढ़ावा
भारत सरकार भी कृषि क्षेत्र में ड्रोन के उपयोग को लगातार बढ़ावा दे रही है. ड्रोन की मदद से तरल यूरिया एवं कीटनाशकों का छिड़काव किया जाता है. हमारे देश के कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री श्री नरेन्द्र सिंह तोमर ने कृषि में ड्रोन के उपयोग को लेकर मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) को भी जारी कर दिया है. इस माध्यम से सरकार खेती को हाईटेक बनाना चाह रही है. इस बढ़ते ड्रोन के उपयोग से किसानों के समय की बचत तो होगी ही और साथ में फसल के उत्पादन में लागत की भी कमी आएगी.
छिड़काव का सही समय
फसलों पर कीटनाशक के छिड़काव का सही समय सुबह व शाम का होता है, क्योंकि इस समय पौधों की पत्तियों में मौजूद रंध्र जल वाष्प और ओस को अच्छी तरह से अवशोषित कर लेता है.
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इस समय कीटनाशक का स्प्रे पौधे सही रुप से संग्रहण कर पाते हैं.
 
                 
                     
                     
                     
                     
                                                 
                                                 
                         
                         
                         
                         
                         
                    
                
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