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आम की फसल पर मधुआ कीट (Hopper) एक गंभीर समस्या है, जो विशेष रूप से फूलों और नई पत्तियों पर आक्रमण करता है. यह कीट रस चूसकर पौधे को कमजोर करता है और साथ ही मधुरस (हनीड्यू) उत्सर्जित करता है, जिससे फफूंद (सूट मोल्ड) पनपती है और प्रकाश संश्लेषण बाधित होता है. इस कीट के चलते फूल झड़ने लगते हैं और पैदावार पर बुरा असर पड़ता है. इसके अलावा, यह कीट एक चिपचिपा पदार्थ (हनीड्यू) उत्सर्जित करता है, जिससे फफूंद (सूट मोल्ड) बढ़ती है और पौधे की प्रकाश संश्लेषण प्रक्रिया बाधित होती है.
मधुआ कीट का प्रकोप अक्सर गर्म और शुष्क मौसम में अधिक होता है. यदि समय पर नियंत्रण न किया जाए, तो यह पूरी फसल को नुकसान पहुंचा सकता है. इसके प्रबंधन के लिए जैविक और रासायनिक दोनों उपाय उपलब्ध हैं. नीम तेल, जैविक कीटनाशक और संतुलित सिंचाई से इसका असर कम किया जा सकता है. वहीं, जरूरत पड़ने पर कीटनाशकों का छिड़काव किया जाता है. समय पर निगरानी और उचित नियंत्रण उपायों से इस कीट को रोका जा सकता है, जिससे आम की बेहतर पैदावार सुनिश्चित की जा सके.
मधुआ कीट की पहचान
- छोटे, पीले-भूरे या हरे रंग के पतले शरीर वाले कीट
- अंडाकार और पंखयुक्त शरीर
- पत्तियों और फूलों से चिपके रहते हैं और हल्के स्पर्श से तेजी से उछलते हैं
- पत्तियों पर चिपचिपा पदार्थ (हनीड्यू) दिखाई देना
- फूल और छोटे फल झड़ना
मधुआ कीट के प्रभाव
- पौधों का विकास प्रभावित होता है
- फूल और फल गिरने लगते हैं
- उत्पादन क्षमता में भारी कमी
- सूट मोल्ड के कारण पत्तियों का काला पड़ना
मधुआ कीट का प्रभावी प्रबंधन
कृषि संबंधी उपाय
बाग की सफाई एवं छंटाई – संक्रमित शाखाओं को हटाकर जलाएं
समुचित वायु संचार सुनिश्चित करें – घने पेड़ों के बीच दूरी बनाए रखें
संतुलित उर्वरक प्रबंधन – नाइट्रोजन की अधिकता से बचें, क्योंकि यह कीट वृद्धि को बढ़ावा देती है
रासायनिक नियंत्रण
- कीटों की अधिकता होने पर उचित कीटनाशकों का प्रयोग करें
- फूल बनने के एक सप्ताह पहले या फूल बनने की अवस्था में....
- इमिडाक्लोप्रिड @ 0.5 मिली/लीटर
- लैम्ब्डा साइहेलोथ्रिन @ 0.5 मिली/लीटर
- थियामेथोक्सम @ 0.5 ग्राम/लीटर
- इन कीटनाशकों का प्रभावी छिड़काव करें
- कम घनत्व (4 हॉपर/पैनिकल से अधिक) होने पर.....
- एजाडिरैचटिन (नीम आधारित) 1% @ 3 मिली/लीटर – जैविक नियंत्रण के लिए उपयोग करें
- जैविक नियंत्रण (ऑर्गेनिक फार्मिंग के लिए)
- मेटारिज़ियम एनिसोप्लिया या बीवेरिया बेसियाना @ 5 ग्राम/लीटर का प्रयोग करें.
- जैविक बागों के लिए अनुकूल
- प्राकृतिक शत्रु जैसे क्राइसोपा और लेडी बीटल को संरक्षण दें.
विशेष सावधानियां
- फूल बनने की अवस्था में अत्यधिक कीटनाशकों का उपयोग न करें.
- जैविक और रासायनिक विधियों का संयोजन करें.
- छिड़काव सुबह या शाम को करें, जब मधुमक्खियों की गतिविधि कम हो.
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