कैक्टस के पौधे में भले ही कांटे हों, लेकिन इसके गुण और इससे जुड़ी कुछ बातें आपको इसकी ओर आकर्षित कर सकती हैं. ज़्यादातर इस पौधे का विकास बंजर भूमि पर होता है. कैक्टस में आपको कई औषधीय गुण मिलते हैं. कैक्टस की हर एक किस्म में आपको पौधे पर कांटें ज़रूर मिलेंगे जो इसकी पहचान है, लेकिन इसमें आपको कई रंग-बिरंगे फूल भी मिलते हैं. आज हम आपको इसी कैक्टस के बारे में कुछ ख़ास और दिलचस्प बातें बताने जा रहे हैं.
40 फीट तक लम्बा हो सकता है कैक्टस का पौधा
कैक्टस में Saguaro सबसे बड़े आकार का पौधा होता है जो Arborescent cactus की ही किस्म के तहत आता है. यह खास पौधा अमेरिका के एरिजोना राज्य के रेगिस्तान, मैक्सिको के रेगिस्तान तथा कैलिफोर्निया के पहाड़ी क्षेत्रों में भी पाया जाता है. इसके आकर की बात करें तो इस कैक्टस पौधे की लम्बाई लगभग 40 फीट तक हो सकती है.
खा सकते हैं कैक्टस का हलवा
कैक्टस का इस्तेमाल न केवल दवा के रूप में उपचार के लिए किया जाता है, बल्कि आप इससे कई स्वादिष्ट पकवान भी बना सकते हैं. इसकी कोमल शाखाओं का इस्तेमाल करके आप कई मीठी रेसिपीज़ बना सकते सकते हैं, जैसे कि हलवा. आप खाने में कैक्टस का इस्तेमाल छिलके या बिना छिलके के साथ भी कर सकते हैं
कैक्टस के दूध से बना सकते हैं काजल
कैक्टस में आपको मोलस्यूसाइडल गुण (molluscicides) मिलते हैं. विशेषज्ञों की रिपोर्ट्स के मुताबिक यह पौधा शिलाजीत की मूल उत्पत्ति है. ऐसा इसलिए क्योंकि इसके गोंद में लार जैसा तत्व निकलता है और इसी का इस्तेमाल काजल बनाने में किया जाता है. ऐसा कहा जाता है कि कैक्टस के इस लार जैसे तत्व दूध से महिलाएं काजल तैयार करती हैं. इस काजल को नवजात शिशुओं की आंखों में एक अवस्था के बाद लगाया जाता है. माना जाता है कि इस काजल को लगाने से आंख की रोशिनी बढ़ती है.
रोगों के उपचार में है रामबाण
अगर आप आर्थराइटिस (गठिया रोग) से पीड़ित हैं तो कैक्टस आपके लिए कारगर है. इसके साथ ही औषधीय गुणों के साथ यह बवासीर में भी उपयोगी है. यह एक एंटीबायोटिक के रूप में गहरे ज़ख्म को बहुत ही जल्द भरने में सहायक है.