Poultry Farming: बारिश के मौसम में ऐसे करें मुर्गियों की देखभाल, बढ़ेगा प्रोडक्शन और नहीं होगा नुकसान खुशखबरी! किसानों को सरकार हर महीने मिलेगी 3,000 रुपए की पेंशन, जानें पात्रता और रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया खुशखबरी! अब कृषि यंत्रों और बीजों पर मिलेगा 50% तक अनुदान, किसान खुद कर सकेंगे आवेदन किसानों को बड़ी राहत! अब ड्रिप और मिनी स्प्रिंकलर सिस्टम पर मिलेगी 80% सब्सिडी, ऐसे उठाएं योजना का लाभ GFBN Story: मधुमक्खी पालन से ‘शहदवाले’ कर रहे हैं सालाना 2.5 करोड़ रुपये का कारोबार, जानिए उनकी सफलता की कहानी फसलों की नींव मजबूत करती है ग्रीष्मकालीन जुताई , जानिए कैसे? Student Credit Card Yojana 2025: इन छात्रों को मिलेगा 4 लाख रुपये तक का एजुकेशन लोन, ऐसे करें आवेदन Pusa Corn Varieties: कम समय में तैयार हो जाती हैं मक्का की ये पांच किस्में, मिलती है प्रति हेक्टेयर 126.6 क्विंटल तक पैदावार! Watermelon: तरबूज खरीदते समय अपनाएं ये देसी ट्रिक, तुरंत जान जाएंगे फल अंदर से मीठा और लाल है या नहीं Paddy Variety: धान की इस उन्नत किस्म ने जीता किसानों का भरोसा, सिर्फ 110 दिन में हो जाती है तैयार, उपज क्षमता प्रति एकड़ 32 क्विंटल तक
Updated on: 4 January, 2025 12:00 AM IST
चूजे और मुर्गियों की ऐसे करें देखभाल (Picture Credit - Adobe Stock)

Poultry Feed Management: देश में पोल्ट्री फार्मिंग काफी तेजी से आगे बढ़ रहा है, किसान खेती के साथ-साथ मुर्गी पालन करना पंसद कर रहे हैं. बाजारों में अंडे और मांस की अच्छी खासी मांग रहती है. इसके अलावा, ग्रामीण अर्थव्यवस्था में पोल्ट्री फार्मिंग को विशेष माना जाता है, क्योंकि यह कई लोगों के लिए कमाई का मुख्य साधन होता है. यह बिजनेस मुनाफा देने वाला है, लेकिन इसके लिए सही तरीके से प्रबंधन और देखभाल करनी बेहद जरूरी होती है. चूजों से लेकर मुर्गियों तक की देखभाल में सही विधि और खानपान के साथ होनी चाहिए, जिससे लागत कम और मुनाफा अधिक हो सकता है.

आइये कृषि जागरण के इस आर्टिकल में जानें चूजों से लेकर मुर्गियों तक की देखभाल के महत्वपूर्ण टिप्स!

पोल्ट्री फार्मिंग में मुख्य खर्च

पोल्ट्री फार्म की सबसे बड़ी लागत चूजों के दाने (फीड) और दवाइयों पर होती है. अगर फार्म की सफाई और देखभाल सही ढंग से की जाए और बायो-सिक्योरिटी का पालन किया जाए, तो दवाइयों की आवश्यकता कम हो जाती है. इससे चूजों की सेहत अच्छी रहती है और फीड का खर्च भी कम होता है.

चूजों की देखभाल के महत्वपूर्ण टिप्स

पोल्ट्री फार्म में चूजों की सही देखभाल के लिए निम्नलिखित बातों का ध्यान रखना चाहिए:

1. फार्म की सफाई

  • चूजे लाने से पहले फार्म की दीवारों और फर्श पर कीटाणुनाशक दवाओं का छिड़काव करें.
  • चूजों के प्रवेश से पहले ब्रूडर की मदद से फार्म में गर्मी पैदा करें.

2. ब्रूडर और चिक गार्ड का उपयोग

  • चूजे आने पर ब्रूडर के चारों ओर चिक गार्ड लगाएं.
  • 8-10 दिन बाद चिक गार्ड हटा दें ताकि चूजों को घूमने के लिए पर्याप्त जगह मिल सके.
  • ब्रूडर में लालटेन या बल्ब का उपयोग कर उचित गर्मी बनाए रखें.

3. विश्वसनीय हैचरी से चूजे खरीदें

  • चूजों को खरीदते समय सुनिश्चित करें कि वे किसी बीमारी से ग्रसित न हों.
  • चूजों के स्वास्थ्य की जांच के लिए विशेषज्ञ की सलाह लें.

4. गर्मी का संतुलन

  • यदि ब्रूडर में चूजे एक जगह जमा हो रहे हैं, तो इसका मतलब है कि तापमान कम है.
  • बहुत अधिक गर्मी हो तो उसे नियंत्रित करें.

फीड का प्रबंधन

फीड पोल्ट्री फार्मिंग का सबसे महंगा हिस्सा है, इसलिए इसका सही प्रबंधन करना जरूरी है:

1. चूजों का आहार:

  • चूजे आने के बाद बारीक दलिया कागज पर डालकर खिलाएं.
  • 15 दिन की उम्र के बाद उन्हें छोटी ग्रिट देना शुरू करें.

2. ताजा और संतुलित आहार:

  • मुर्गियों को हमेशा ताजा और संतुलित आहार दें.
  • बाजार से उनकी उम्र के अनुसार स्टार्टर्स और ग्रोअर फीड खरीदें.

3. फीड का सही स्टोरेज:

  • दाने को हमेशा सूखी जगह पर रखें.
  • नमी वाली जगह पर फीड रखने से उसमें फफूंद लग सकती है, जो मुर्गियों के लिए हानिकारक है.
  • लंबे समय तक फीड स्टोर न करें.

4. मिनरल्स और विटामिन्स का ध्यान:

  • मुर्गियों की उम्र के अनुसार उन्हें जरूरी मिनरल्स और विटामिन्स दें.
  • एक चूजे को मुर्गी बनने तक लगभग 13 किलो फीड की आवश्यकता होती है.

सफल मुर्गी पालन के टिप्स

  • चूजों की सेहत और उनके आहार का विशेष ध्यान रखें.
  • बायो-सिक्योरिटी का पालन करें ताकि बीमारियों का खतरा कम हो.
  • वैज्ञानिक तरीकों से फार्म का प्रबंधन करें और एक्सपर्ट्स की सलाह लेते रहें.
English Summary: care tips for chicks and chickens poultry farming good profit at low cost
Published on: 04 January 2025, 02:59 IST

कृषि पत्रकारिता के लिए अपना समर्थन दिखाएं..!!

प्रिय पाठक, हमसे जुड़ने के लिए आपका धन्यवाद। कृषि पत्रकारिता को आगे बढ़ाने के लिए आप जैसे पाठक हमारे लिए एक प्रेरणा हैं। हमें कृषि पत्रकारिता को और सशक्त बनाने और ग्रामीण भारत के हर कोने में किसानों और लोगों तक पहुंचने के लिए आपके समर्थन या सहयोग की आवश्यकता है। हमारे भविष्य के लिए आपका हर सहयोग मूल्यवान है।

Donate now