उन्नत तरीके से खेती करके फसलोत्पादन तथा उत्पादकता में वृद्धि के लिए देश के अन्नदाताओं के पास उन्नत किस्म की बीज, रासायनिक खाद, कीटनाशक दवा तथा सिंचाई के लिए पानी की समुचित व्यवस्था के साथ उचित समय पर कृषि कार्य करने के लिए आधुनिक कृषि यंत्रों का होना बहुत जरुरी है. आधुनिक कृषि यंत्रों से न केवल कृषि विकास दर को गति मिलता है. बल्कि किसानों की आर्थिक स्थिति को मजबूती भी मिलता है.
अटल सोलर फोटोवोल्टिक सिंचाई पंप योजना
केंद्र व राज्य सरकार ‘अटल सोलर फोटोवोल्टिक सिंचाई पंप योजना' के तहत पंपों के लिए पंप की क्षमता के अनुसार वित्तीय सहायता देगी. शेष राशि किसानों को जमा करानी होगी-
- 2 एच.पी डी.सी. सर्फेस की क्षमता वाले पंप के लिए वित्तीय सहायता 87094 रुपये
- 2 एच.पी ए.सी. सर्फेस की क्षमता वाले पंप के लिए वित्तीय सहायता 87094 रुपये
- 2 एच.पी डी.सी. सबमसीर्बुल की क्षमता वाले पंप के लिए वित्तीय सहायता 132020 रुपये
- 3 एच.पी ए.सी. सबमसीर्बुल की क्षमता वाले पंप के लिए वित्तीय सहायता 129188 रुपये
- 5 एच.पी ए.सी. सबमसीर्बुल की क्षमता वाले पंप के लिए वित्तीय सहायता 97436 रुपये
उन्नत तरीके से खेती करके फसलोत्पादन तथा उत्पादकता में वृद्धि के लिए देश के अन्नदाताओं के पास उन्नत किस्म की बीज, रासायनिक खाद, कीटनाशक दवा तथा सिंचाई के लिए पानी की समुचित व्यवस्था के साथ उचित समय पर कृषि कार्य करने के लिए आधुनिक कृषि यंत्रों का होना बहुत जरुरी है. आधुनिक कृषि यंत्रों से न केवल कृषि विकास दर को गति मिलता है. बल्कि किसानों की आर्थिक स्थिति को मजबूती भी मिलता है. आज के समय में सही तरीके से जुताई, बुवाई, सिंचाई, कटाई, मड़ाई एवं भंडारण आदि कृषि कार्य आधुनिक कृषि यंत्रों से करना ही संभव है. ऐसे में केंद्र व राज्य सरकार समय - समय पर अलग-अलग योजनाओं के अंतर्गत देश के किसानों को उनकी कैटेगरी के मुताबिक सब्सिडी मुहैया कराती रहती है जो आधुनिक कृषि यंत्र को खरीदने में असमर्थ हैं. इसी कड़ी में उत्तर प्रदेश सरकार और केंद्र सरकार किसानों को सौर ऊर्जा से संचालित सोलर पंप पर सब्सिडी दे रही है. इस योजना का लाभ किसान 'पहले आओ-पहले पाओ' के आधार पर उठा सकते हैं. सिंचाई के लिए सौर ऊर्जा संचालित पंप सेट, बिजली और डीजल पंप प्रणाली का उभरता हुआ विकल्प है.
योजना की शर्तें
- योजना का लाभ लेने के लिए 8 जुलाई, 2019 से जनपद की लक्ष्य पूर्ति तक बैंक ड्राफ्ट उप कृषि निदेशक कार्यालय में जमा किए जा सकते है.
- कृषक अंश का बैंक ड्राफ्ट 08 जुलाई, 2019 अथवा आगे की तिथियों का होना चाहिए.
- किसानों को अपने हिस्से की राशि के बैंक ड्राफ्ट के साथ कृषि विभाग के पोर्टल www.upagripardarshi.gov.in पर पंजीकरण करना होगा.
गौरतलब है कि सौर संचालित पंपों को आमतौर पर दिन में चलाया जाता है इसलिए किसानों को रात में काम करने की जरुरत नहीं होती है. यह उन किसानों के लिए भी वरदान है जिनके पास बिजली कनेक्शन नहीं हैं. सौर पंप, बिजली वितरण कंपनियों पर सब्सिडी के बोझ को काम करने में सहायक होंगे, जिससे इन कंपनियों को अधिक मुनाफा होगा. हालांकि सरकार इस पर विचार कर रही है कि बिजली कि सब्सिडी लोगों के खाते में सीधे भेजी जाएं.