Mangifera Indica:आम पर लाइकेन का प्रभाव आम के पौधों की वृद्धि और उत्पादन क्षमता को प्रभावित करता है. लाइकेन, शैवाल और कवक का सहजीवी गठजोड़ है, जो पेड़ों की छाल, शाखाओं और तनों पर उगता है. यद्यपि लाइकेन पौधों के लिए सीधे हानिकारक नहीं होते, वे परोक्ष रूप से पेड़ की वृद्धि पर प्रभाव डालते हैं, विशेषकर जब यह बड़े पैमाने पर फैल जाता है. इसे नियंत्रित करने और रोकने के लिए निम्नलिखित विधियों का पालन किया जा सकता है जैसे...
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लाइकेन को कैसे पहचाने?
लाइकेन आमतौर पर पेड़ों की छाल पर भूरे, हरे, पीले या सफेद रंग के रूप में दिखाई देते हैं. लाइकेन का प्रसार मुख्यतः नमी, छायादार स्थान और हवा में पोषक तत्वों की उपलब्धता के कारण होता है. लाइकेन के फैलने से यह संकेत मिल सकता है कि पेड़ कमजोर हो रहा है या पर्यावरणीय परिस्थितियां इसके लिए अनुकूल नहीं हैं.
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नियंत्रण के कल्चरल उपाय
प्रूनिंग (छंटाई): लाइकेन प्रभावित शाखाओं और तनों की छंटाई करें. यह प्रभावित हिस्से को हटाने के साथ-साथ पेड़ को वायु संचार (एयर सर्कुलेशन) बढ़ाने में मदद करता है, जिससे लाइकेन के विकास के लिए अनुकूल परिस्थितियां समाप्त हो जाती हैं.
सफाई और नमी नियंत्रण: पेड़ों के चारों ओर अतिरिक्त नमी कम करने के लिए जल निकासी की उचित व्यवस्था करें. नमी का अधिक जमाव लाइकेन के विकास को प्रोत्साहित करता है.
सूरज की रोशनी: पेड़ों के पास बढ़ रही झाड़ियों या अन्य पौधों को हटाएं, ताकि पर्याप्त धूप आम के पेड़ तक पहुंच सके. यह लाइकेन के विकास को रोकने में मदद करता है, क्योंकि यह आमतौर पर छायादार स्थानों में अधिक पनपता है.
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रासायनिक नियंत्रण उपाय
कॉपर आधारित फफूंदनाशक का उपयोग: कॉपर सल्फेट या बोर्डो मिश्रण/Bordeaux Mixture लाइकेन को नियंत्रित करने में प्रभावी है. प्रभावित पेड़ों पर पतले अनुपात में इनका छिड़काव करें.
उपयोग का तरीका : बोर्डो मिश्रण (1% समाधान) या कॉपर ऑक्सीक्लोराइड (0.2%) का छिड़काव लाइकेन को धीरे-धीरे समाप्त करता है. यह सुनिश्चित करें कि छिड़काव से पहले पेड़ की छाल को साफ किया गया हो.
लाइम-सल्फर स्प्रे: लाइम और सल्फर का घोल लाइकेन को खत्म करने में सहायक होता है. इसे सावधानीपूर्वक पतले अनुपात में बनाएं और सुबह या शाम के समय छिड़काव करें.
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यांत्रिक विधियां
ब्रशिंग : लाइकेन प्रभावित स्थानों को हल्के ब्रश या खुरचनी से साफ करें. ध्यान रखें कि पेड़ की छाल को नुकसान न पहुंचे. इस विधि का उपयोग विशेष रूप से उन पेड़ों के लिए करें, जहां लाइकेन का प्रभाव कम है.
धोना: पानी और हल्के साबुन का उपयोग करके लाइकेन को छाल से धोने की प्रक्रिया अपनाई जा सकती है. यह प्रभावित सतह से लाइकेन को हटा देता है.
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संवर्धन उपाय/Plant Health Management
पोषक तत्व प्रबंधन
पेड़ों को स्वस्थ रखने के लिए संतुलित उर्वरक का उपयोग करें. नाइट्रोजन, फास्फोरस और पोटेशियम (NPK) के संतुलित अनुपात वाले उर्वरक पेड़ की रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाते हैं.
जैव उर्वरक और जैविक समाधान
वर्मी-कम्पोस्ट, जैव उर्वरक, और ट्राइकोडर्मा जैसे जैविक एजेंट का उपयोग करें. ये पेड़ की सतह पर लाइकेन के विकास को रोकने में मदद करते हैं.
सामयिक निरीक्षण
नियमित रूप से पेड़ों का निरीक्षण करें और लाइकेन के शुरुआती लक्षण दिखने पर तुरंत कार्रवाई करें.
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जैविक नियंत्रण
प्राकृतिक नाशक
नीम के तेल/Neem Oil का उपयोग एक प्राकृतिक नाशक के रूप में किया जा सकता है. नीम तेल लाइकेन के विकास को रोकने में सहायक है.
अनुकूल जैव पर्यावरण
पौधों के आसपास जैव-विविधता बनाए रखें, ताकि प्राकृतिक दुश्मन/Predators लाइकेन के विकास को नियंत्रित कर सकें.
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रोकथाम और दीर्घकालिक समाधान
अच्छे बाग प्रबंधन प्रथाओं का पालन : बाग में नियमित सफाई, छंटाई और खाद प्रबंधन करें.
जलवायु अनुकूलन: पेड़ों को अत्यधिक आर्द्रता और छायादार स्थानों में लगाने से बचें.
जागरूकता: किसान भाइयों को लाइकेन की पहचान, इसके प्रभाव, और नियंत्रण उपायों के बारे में जागरूक करें.