बिहार के गया जिले को एक ऐतिहासिक बौद्ध नगरी माना जाता है. यहां हर साल हजारों विदेशी पर्यटक आते हैं. हमेशा से इनकी खाने की थाली में भारतीय व्यंजन और विदेशी हरी सब्जियों को परोसा जाता है. इसके लिए स्थानीय दुकानदार कई मुश्किलों का सामना करते हैं, ताकि वे विदेशी धरती पर उगने वाली हरी सब्जियों का प्रबंध कर पाएं. इनकी मांग लगातार बढ़ती जा रही है. आम लोग भी इन सब्जियों को काफी पसंद कर रहे हैं. अधिकतर किसान इन विदेशी किस्म की सब्जियों के पौधे ऑनलाइन मंगा रहे हैं. ऐसे में राज्य सरकार के कृषि विभाग ने एक योजना बनाई है, जिसमें विदेशी सब्जियों और संकर किस्म वाली हरी सब्जियों की खेती को बढ़ावा दिया जाएगा.
योजना से किसानों को मिलेगा लाभ
कृषि विभाग की बनाई गई योजना से किसानों को काफी लाभ मिलने वाला है. बता दें कि अभी विदेशी सब्जी वाला पौधा लगभग 10 रुपए में मिलता है, लेकिन अब वह महज 1 रुपए में दिया जाएगा. इसके अलावा संकर किस्म वाले पौधे महज 30 पैसे में दिए जाएंगे. खास बात है कि इन पौधों की खेती जिले में कराई जाएगी. कृषि मंत्री डॉ. प्रेम कुमार विदेशी और संकर किस्म वाली सब्जी की खेती पर तेजी से योजना तैयार कर रहे हैं.
किसानों को बांटे जाएंगे पौधे
बिहार के किसानों को उच्च गुणवत्ता के विदेशी सब्जियों के पौधे और संकर पौध उपलब्ध कराने के लिए उद्यान निदेशालय के अंतर्गत संचालित सेंटर ऑफ एक्सीलेन्स देसरी और चंडी में पौध तैयार किए जा रहे हैं. इन पौधों को अधिकतर किसानों में बांटने का प्रयास किया जाएगा.
पौधों पर मिलेगी सब्सिडी
इन पौधों पर सरकार 90 प्रतिशत तक की सब्सिडी भी उपलब्ध करा रही है. बता दें कि संकर किस्म वाली सब्जियों के 1 पौधे की कीमत 3 रुपए है. किसानों के लिए सरकार महज़ 30 पैसे में पौधे उपलब्ध करा रही है. इस तरह किसानों को राहत मिल पाएगी.
किसान ऑनलाइन कर सकते हैं आवेदन
अगर कोई किसान अधिकतम एक एकड़ भूमि के लिए पौध लेना चाहता है, तो वह जिले के पंजीकृत किसान उद्यान विभाग की वेबसाइट पर जाकर ऑनलाइन आवेदन कर सकता है. बता दें कि जो किसान पट्टे पर खेती करते हैं, उन्हें भी सरकारी सब्सिडी पर पौधा उपलब्ध कराएगी.
अन्य ज़रूरी जानकारी
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विदेशी सब्जी के लिए गया में 8 हजार पौधे वितरित किए जाएंगे.
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इसके अलावा औरंगाबाद, जहानाबाद, नवादा और अरवल में 4 हजार पौधे वितरित करना का लक्ष्य बनाया गया है.
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मगध प्रमंडल में कुल 24 हजार पौधे बांटे जाएंगे.
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संकर प्रभेद के बीज रहित खीरा, बैगन और कुकुरबिट्स के 1 लाख 60 हजार पौधों का वितरण किया जाएगा.
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इसके साथ ही औरंगाबाद, नवादा, जहानाबाद और अरवल में हर जिले तो 80 हजार पौधे बांटने का लक्ष्य बना है.
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