Poultry Farming: बारिश के मौसम में ऐसे करें मुर्गियों की देखभाल, बढ़ेगा प्रोडक्शन और नहीं होगा नुकसान खुशखबरी! किसानों को सरकार हर महीने मिलेगी 3,000 रुपए की पेंशन, जानें पात्रता और रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया खुशखबरी! अब कृषि यंत्रों और बीजों पर मिलेगा 50% तक अनुदान, किसान खुद कर सकेंगे आवेदन किसानों को बड़ी राहत! अब ड्रिप और मिनी स्प्रिंकलर सिस्टम पर मिलेगी 80% सब्सिडी, ऐसे उठाएं योजना का लाभ GFBN Story: मधुमक्खी पालन से ‘शहदवाले’ कर रहे हैं सालाना 2.5 करोड़ रुपये का कारोबार, जानिए उनकी सफलता की कहानी फसलों की नींव मजबूत करती है ग्रीष्मकालीन जुताई , जानिए कैसे? Student Credit Card Yojana 2025: इन छात्रों को मिलेगा 4 लाख रुपये तक का एजुकेशन लोन, ऐसे करें आवेदन Pusa Corn Varieties: कम समय में तैयार हो जाती हैं मक्का की ये पांच किस्में, मिलती है प्रति हेक्टेयर 126.6 क्विंटल तक पैदावार! Watermelon: तरबूज खरीदते समय अपनाएं ये देसी ट्रिक, तुरंत जान जाएंगे फल अंदर से मीठा और लाल है या नहीं Paddy Variety: धान की इस उन्नत किस्म ने जीता किसानों का भरोसा, सिर्फ 110 दिन में हो जाती है तैयार, उपज क्षमता प्रति एकड़ 32 क्विंटल तक
Updated on: 19 September, 2022 5:55 PM IST
धान की खरीद पर हरियाणा सरकार का नया फैसला

हरियाणा में धान की फसल पककर तैयार हो गई है और मंडियों में फसल आने से पहले ही राज्य सरकार के ई- नाम पोर्टल के माध्यम से धान खरीद के फैसले का विरोध होने लगा है. एक तरफ आढ़तियों ने हड़ताल का ऐलान कर दिया, तो दूसरी तरफ सरकार का कहना है कि हम किसानों के साथ हैं और हर हाल में इस बार ई- नाम पोर्टल के माध्यम से ही धान की खरीद की जाएगी. लेकिन रस्साकशी के खेल ने किसानों की चिंताओं को बढ़ा दिया है.

किसानों का कहना है कि एक तरफ अभी सरकारी खरीद शुरू नहीं हुई है, दूसरी ओर यदि आढ़ती भी फसल नहीं खरीदेगें, तो हमारे लिए परेशानी बढ़नी तय है.

दरअसल, हरियाणा सरकार ने इस बार धान के सीजन की उन फसलों की खरीद भी ई-नाम पोर्टल के माध्यम से तय करना सुनिश्चत किया है, जिन फसलों का एमएसपी तय नहीं है. इनमें धान की बासमती किस्म के साथ बागवानी और दालें भी शामिल हैं. इन सभी फसलों की खरीद के लिए गेट पास भी मैनुवली के बजाय ई-नेम पोर्टल से ही काटा जाएगा. इसके अलावा मंडी में धान की खरीद भी ई-ऑक्शन के माध्यम से की जाएगी. नियमों के अनुसार अगर कोई भी मिलर्स बिना ई-ऑक्शन के खरीद करते पाया गया तो उस पर कार्रवाई की जाएगी.

ये भी पढ़ें: गेहूं की HI-8663 किस्म देगी 90 क्विंटल प्रति हेक्टेयर पैदावार, जानें क्या है इसकी खासियत

हरियाणा आढ़ती एसोसिशन के चेयरमैन का बयान

हरियाणा आढ़ती एसोसिशन के चेयरमैन रजनीश चौधरी का कहना है कि सरकार ई-ऑक्शन के माध्यम से आढ़तियों और किसानों का अधिकारों का हनन कर रही है. ई-नाम पोर्टल के माध्यम से खरीद की प्रक्रिया काफी लंबी है. जिससे किसानों को समय पर उनका पैसा नहीं मिल पाएगा. 

किसानों को क्या हो सकती है दिक्कत

हरियाणा में धान की फसल लगभग पककर तैयार हो चुकी है और अगेती किस्में तो मंडियों में भी पहुंचने लगी हैं, लेकिन सरकारी खरीद शुरु न होना और आढ़तियों का हड़ताल पर जाना किसानों के लिए एक चिंता का विषय है. आने वाले समय में पता चलेगा कि यह फैसला किस मोड़ पर पहुंचता है. 

English Summary: Arhtiyas in the haryana have decided to go on a statewide strike.
Published on: 19 September 2022, 06:02 PM IST

कृषि पत्रकारिता के लिए अपना समर्थन दिखाएं..!!

प्रिय पाठक, हमसे जुड़ने के लिए आपका धन्यवाद। कृषि पत्रकारिता को आगे बढ़ाने के लिए आप जैसे पाठक हमारे लिए एक प्रेरणा हैं। हमें कृषि पत्रकारिता को और सशक्त बनाने और ग्रामीण भारत के हर कोने में किसानों और लोगों तक पहुंचने के लिए आपके समर्थन या सहयोग की आवश्यकता है। हमारे भविष्य के लिए आपका हर सहयोग मूल्यवान है।

Donate now