AIF Scheme: किसानों के लिए वरदान है एग्री इंफ्रा फंड स्कीम, सालाना कर सकते हैं 6 लाख रुपये तक की बचत, जानें कैसे करें आवेदन स्टार 33 मक्का: कम निवेश में बंपर उत्पादन की गारंटी इस किस्म के दो किलो आम से ट्रैक्टर खरीद सकते हैं किसान, जानें नाम और विशेषताएं भारत का सबसे कम ईंधन खपत करने वाला ट्रैक्टर, 5 साल की वारंटी के साथ एक घंटे में 5 एकड़ खेत की सिंचाई करेगी यह मशीन, समय और लागत दोनों की होगी बचत Small Business Ideas: कम निवेश में शुरू करें ये 4 टॉप कृषि बिजनेस, हर महीने होगी अच्छी कमाई! ये हैं भारत के 5 सबसे सस्ते और मजबूत प्लाऊ (हल), जो एफिशिएंसी तरीके से मिट्टी बनाते हैं उपजाऊ Goat Farming: बकरी की टॉप 5 उन्नत नस्लें, जिनके पालन से होगा बंपर मुनाफा! Mushroom Farming: मशरूम की खेती में इन बातों का रखें ध्यान, 20 गुना तक बढ़ जाएगा प्रॉफिट! आम की फसल पर फल मक्खी कीट के प्रकोप का बढ़ा खतरा, जानें बचाव करने का सबसे सही तरीका
Updated on: 18 October, 2022 8:13 PM IST
500 crore to enhance the successful initiatives of Agri Startups. The accelerator program will be started- Tomar

कृषि स्टार्टअप के लिए बड़ी नीतिगत पहल करते हुए केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने आज कई महत्वपूर्ण घोषणाएं की. पूसा मेला ग्राउंड, दिल्ली में पीएम किसान सम्मान सम्मेलन के दूसरे दिन आयोजित एग्री स्टार्टअप कांफ्रेंस में तोमर ने बताया कि कृषि स्टार्टअप पारिस्थितिकी तंत्र के समग्र मार्गदर्शन के लिए कृषि मंत्री की अध्यक्षता में उच्च स्तरीय संचालन समिति गठित की जाएगी. एग्री स्टार्टअप्स की सफल पहलों को आगे बढ़ाने व उनके लोकव्यापीकरण के लिए 500 करोड़ रु. का एक्सीलरेटर प्रोग्राम शुरू किया जाएगा.

बड़ी संख्या में उपस्थित एग्री स्टार्टअप प्रतिनिधियों के बीच केंद्रीय मंत्री तोमर ने ऐलान किया कि कृषि सचिव की अध्यक्षता में कार्यकारी समिति का गठन किया जाएगा, जिसमें संबंधित एजेंसियों जैसे डेयर, डीपीआईआईटी, कृषि इनक्यूबेटर व ज्ञान भागीदारों, कृषि विश्वविद्यालयों, अनुसंधान संस्थानों, प्रमुख निवेशकों, अन्य हितधारकों के शीर्ष स्तर के अधिकारी शामिल होंगे. साथ ही, कृषि मंत्रालय में कृषि स्टार्टअप के लिए संयुक्त सचिव की अध्यक्षता में अलग डिवीजन बनाया जाएगा. प्रमाणन एजेंसियों, वित्तीय संस्थानों, कृषि विश्वविद्यालयों आदि के साथ एग्री स्टार्टअप के लिए आवश्यक सभी लिंकेज की सुविधा के लिए सिंगल विंडो एजेंसी के रूप में काम करने के लिए सेल भी बनाया जाएगा. तोमर ने बताया कि एग्री स्टार्टअप द्वारा विकसित उत्पादों की, बाजार की जरूरतों को पूरा करने के लिए ई-नाम व नेफेड जैसी संस्थाओं के साथ एक मार्केटिंग लिंकेज बनाया जाएगा. सभी कृषि स्टार्टअप के लिए एक डेटाबेस तैयार करने और उनके विकास की निगरानी के लिए एक पोर्टल भी विकसित किया जाएगा. तोमर ने कहा कि कृषि क्षेत्र में स्टार्टअप को बढ़ावा देने के लिए एग्री स्टार्टअप कॉन्क्लेव का आयोजन राष्ट्रीय व क्षेत्रीय स्तर पर करने का प्रयास किया जाएगा.

तोमर ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की पिछले आठ साल में लगातार यह कोशिश रही है कि देश की ताकत उभरकर दुनिया के राजनीतिक मंच पर आना चाहिए. हमारे देश के किसान, नौजवान, स्टार्टअप आदि की ताकत को नियोजित तरीके से उभारकर लक्ष्य साधकर काम किया जाएं तो वह दिन दूर नहीं जब भारत सबका मार्गदर्शन करने दुनिया के राजनीतिक मंच पर खड़ा होगा. प्रधानमंत्री मोदी जब-जब भी विदेश गए तो वहां बैठकों के अलावा उन्होंने अप्रवासी भारतीयों से संपर्क कर उनका उत्साहवर्धन किया है. हमारे इन भाइयों-बहनों पर हमें गर्व है जो दुनिया को पोषित करने की क्षमता रखते है. मोदी ने आत्मनिर्भर भारत बनाने व वोकल फार लोकल का आह्वान किया है, ऐसे में कभी विदेशी पैन देखकर गर्व करने वाले आज स्वयं सहायता समूह द्वारा बांस से बनाए गए पैन जेब में लगा देखकर गौरव का अनुभव करते हैं. पहले विदेश जाकर नौकरी करने की प्रतिस्पर्धा थी लेकिन आज हमारे कई युवा साथी विदेश में अच्छा जाब भी छोड़कर हिंदुस्तान में ही कोई उद्यम या आजीविका पूरी ताकत से करते हुए गौरव का अनुभव कर रहे हैं. यह बदलाव शुभ संकेत हैं. 8 साल पहले मात्र 80-100 कृषि स्टार्टअप थे, वहीं प्रधानमंत्री बनने के बाद मोदी द्वारा लगातार प्रोत्साहन के परिणामस्वरूप आज इनकी संख्या दो हजार से भी अधिक है, जिनमें से सैकड़ों को कृषि मंत्रालय की योजना के अंतर्गत प्रशिक्षण व आर्थिक सहायता भी प्रदान की गई है. केंद्र सरकार का इन्हें 10 हजार करने का लक्ष्य है.

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि सरकार तकनीक को विकसित करने के लिए प्रतिबद्ध है. सरकार चाहती है कि हमारे स्टार्टअप विद्यमान चुनौतियों का समाधान करते हुए देश-दुनिया के काम आएं, इस दिशा में कृषि मंत्रालय के साथ ही कृषि शिक्षा एवं अनुसंधान विभाग (डेयर) व भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद (आईसीएआर) सहित अन्य संस्थाओं द्वारा पूरी शिद्दत से काम किया जा रहा है. तोमर ने कहा कि टेक्नालाजी का लोकव्यापीकरण होना जरूरी है, तभी जन-जन को इसका वास्तविक लाभ होगा, साथ ही तकनीक ऐसी हो कि जिसकी लागत आम लोग वहन कर सकें. स्टार्टअप को अपनी दिशा व क्षेत्र तय कर काम करना चाहिए, ताकि किसानों को इनके कार्यों का पूरा लाभ मिल सकें. देश-दुनिया की बढ़ती आबादी के मद्देनजर खाद्य सुरक्षा के लिए भी काम करना चाहिए, साथ ही जलवायु परिवर्तन की चुनौतियों को देखते हुए भी समाधान की दिशा में काम करना होगा. स्टार्टअप दूरदृष्टि व पक्के इरादे के साथ नवाचार करें. प्रधानमंत्री के आह्वान के अनुरूप, देश की आजादी के 100 वर्ष होने तक देश को पूरी तरह से विकसित करने में हमें कामयाब होना है. तोमर ने कहा कि भारत सरकार इसके लिए स्टार्टअप के साथ कंधे से कंधा और कदम से कदम मिलाकर खड़ी हुई है.

इस अवसर पर केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण राज्य मंत्री कैलाश चौधरी व सुश्री शोभा करंदलाजे भी उपस्थित थी. कृषि सचिव मनोज अहूजा व आईसीएआर के महानिदेशक डा. हिमांशु पाठक ने भी संबोधित किया. प्रारंभ में, देशभर से आए सैकड़ों स्टार्टअप के अनेक प्रतिनिधियों ने अपने महत्वपूर्ण सुझाव मंत्रीगण के समक्ष रखें. इससे पहले, केंद्रीय मंत्री तोमर ने दोनों राज्यमंत्रियों के साथ विभिन्न स्टाल का अवलोकन कर स्टार्टअप से जानकारी ली.

English Summary: 500 crore to enhance the successful initiatives of Agri Startups. The accelerator program will be started- Tomar
Published on: 18 October 2022, 08:22 PM IST

कृषि पत्रकारिता के लिए अपना समर्थन दिखाएं..!!

प्रिय पाठक, हमसे जुड़ने के लिए आपका धन्यवाद। कृषि पत्रकारिता को आगे बढ़ाने के लिए आप जैसे पाठक हमारे लिए एक प्रेरणा हैं। हमें कृषि पत्रकारिता को और सशक्त बनाने और ग्रामीण भारत के हर कोने में किसानों और लोगों तक पहुंचने के लिए आपके समर्थन या सहयोग की आवश्यकता है। हमारे भविष्य के लिए आपका हर सहयोग मूल्यवान है।

Donate now