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Updated on: 8 August, 2022 6:04 PM IST

Asian pigeonwings Farming: देश के किसानों को लगातार पारंपरिक खेती के अलावा औषधीय, ऑर्गेनिक और बागवानी करने की ओर प्रोत्साहित किया जा रहा है. ऐसे में हम आपके लिए एक ऐसे औषधीय फूल की खेती की तरकीब लेकर आए हैं, जिसकी खेती करने से किसानों को मुनाफा ही मुनाफा होगा. 

अपराजिता की खेती

जी हां, हम यहां अपराजिता की खेती के बारे में बात कर रहे हैं. अपराजिता की खेती गर्मी हो या फिर सूखा ही क्यों ना पड़ा हो, इसकी फसल को फर्क नहीं पड़ता और ये कैसे भी जलवायु में तेजी से विकास करता है. ऐसे में इसकी खेती करना किसानों के लिए आसान हो जाता है. अपराजिता की फसल को तितली मटर भी कहते हैं.

अपराजिता की फसल से 3 काम और 3 गुना मुनाफा

अपराजिता फूल का इस्तेमाल कई चीजों में किया जाता है. इसमें सबसे पहला तो ये है कि इसे भोजन यानी खाने के रूप में इस्तेमाल किया जाता है. दूसरा इसके फूल का इस्तेमाल बड़े पैमाने पर पूजा के लिए भी किया जाता है. 

वहीं आप ये बात नहीं जानते होंगे कि इसके फूलों से नीली चाय यानी की ब्लू टी भी बनाई जाती है. ब्लू टी कई रोगों के खिलाफ बहुत फायदेमंद है, इसलिए इसकी डिमांड भी बाजारों में हमेशा बनी रहती है. खासतौर पर ये मधुमेह के मरीजों के लिए रामबाण का काम करती है. इतना ही नहीं, अपराजिता के बाकी बचे हुए भाग को किसान पशुओं के चारे के रूप में इस्तेमाल कर सकते हैं.

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अपराजिता की खेती करने के लिए कुछ जरूरी बातें

इसकी खेती की सबसे अच्छी बात ये है कि इस पर मिट्टी और जलवायु का कोई खास असर नहीं पड़ता है. ऐसे में इसकी खेती आसान हो जाती है. हां इसकी खेती के दौरान इस बात का ध्यान रहे कि किसान भाई खेती करने से पहले बीजों का उपचार अवश्य करा लें. 

वहीं विशेषज्ञों की मानें, तो इसके बीजों की बुवाई 20 से 25 × 08 या 10 सेमी की दूरी पर करनी चाहिए. वहीं अगर इसके गहराई की बात करें, तो ढ़ाई से तीन सेमी की गहराई पर इसके बीजों की बुवाई करें.

English Summary: Start cultivating butterfly peas today, tea is made from its flowers, farmers get 3 times more profit
Published on: 08 August 2022, 06:09 PM IST

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