भारत बासमती चावल का बहुत बडा निर्यातक शुरु से ही रहा है. भारत ने 2022-23 में करीब 4,6 मिलियन टन बासमती चावल का निर्यात किया है. लेकिन बासमती चावल पर सरकार की तरफ से 99,885.54 (1200 डालर) प्रति टन की न्यूनतम निर्यात मूल्य (एमईपी) लागू होने से देश के किसानों और निर्यातकों को लगातार नुकसान की चिंता सता रही है. देश के किसानों का कहना है कि अगर यह पाबंदी जल्द नहीं हटाई गई तो किसानों और निर्यातकों का नुकसान और बढ़ेगा साथ ही दूसरे देशों को इसका फायदा मिल सकता है. पिछले एक महीने के दौरान ही निर्यातकों को निर्यात के लिए आर्डर नहीं मिलने से करोड़ों का नुकसान हो चुका है. सूत्रों कि मानें तो किसानों और निर्यातकों की परेशानियों को देखते हुए सरकार से जल्द राहत मिलने की उम्मीद बताई जा रही है.
बासमती के निर्यात से मिले 38,524 करोड़ रुपए
पिछले साल भारत में करीब 45 लाख टन बासमती चावल के निर्यात से 38524 करोड़ रुपए की आय हुई. इस दौरान गैर-बासमती चावल का कुल उत्पादन 1355 लाख टन दर्ज किया गया. यानी बासमती चावल का कुल चावल की पैदावार का करीब चार-पांच फीसद है. एमईपी से भारत से बासमती चावल का निर्यात करीब 80 फीसद प्रभावित हो सकता है. अचानक प्रति टन कीमत में 200-250 डालर की औसत बढ़ोतरी से मांग पर काफी असर पड़ा है. भारत से निर्यात होने वाले 80 फीसद बासमती की कीमत औसतन 850 डालर प्रति टन है जबकि शेष 20 फीसद निर्यात होने वाले चावलक 1200-1700 डालर प्रति टन है.
प्राकृतिक आपदाओं से किसानों को होता है काफी नुकसान
देश में हरियाणा और पंजाब में सर्वाधिक बासमती चावल का उत्पादन होता है. लेकिन पिछले साल की तुलना में पंजाब की कुछ मंडियों में को किसानों को शुरुआती भाव महज 3300-3500 रुपए का भाव मिल रहा है. यह पिछले साल की तुलना में पहले ही 700-800 रुपए प्रति क्विंटल कम है. वहां के किसानों को कहना है कि अधिक बारिश होने की वजह से मंडियों तक पहुंचाने में काफी दिक्कत हो रही है. निर्यात के लिए न्यूनतम कीमत तय होने से किसानों को काफी नुकसान हो रहा है.
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किन देशों में हो रहा है बासमती चावल का एक्सपोर्ट
भारत में प्रत्येक साल 50 से 55 हजार करोड़ रुपये का बासमती चावल पैदा हो रहा है. जिसमें से करीब 35 से 38 हजार करोड़ रुपये का एक्सपोर्ट होता है. भारत से इराक,यूके,कतर,ओमान,ईरान,सऊदी अरब,यूएई,यमन,कुवैत और अमेरिका आदि देशों को बड़े पैमाने पर बासमती चावल का एक्सपोर्ट किया जाता है.