देशभर में किसान रबी फसलों की तैयारियों में जी जान से जुट गए हैं. आलू भी रबी सीजन की प्रमुख फसल है. इस समय उत्तर प्रदेश समेत देश के कई हिस्सों में आलू की बुवाई की जाना है.
इसके लिए किसानों ने बीज की तैयारी कर ली है. इधर, आलू की बुवाई से पहले कृषि विशेषज्ञों ने किसानों को कुछ जरुरी सलाह दी. तो आइये जानते हैं कृषि विशेषज्ञों का क्या कहना है-
जुताई करके छोड़ दें खेत (leave the field after plowing)
उत्तरप्रदेश के किसानों को कृषि विशेषज्ञों ने जरुरी सलाह दी है कि आलू की बंपर पैदावार के लिए खेतों की जोताई करके छोड़ दें. कृषि विशेषज्ञ विकास पुरी का कहना आलू की खेती करने वाले किसानों को खेत की अच्छी जुताई करने के बाद 10 दिनों के लिए छोड़ दें.
दस दिनों किसानों को आलू की बुवाई कर देनी चाहिए. उन्होंने कहा कि आलू की बुवाई का समय आ गया है. खेत की जुताई करके कुछ छोड़ने से खरपतवार नष्ट हो जाते हैं. जिससे आलू की अच्छी पैदावार होती है. साथ ही पूरी ने कहा कि आलू की बुवाई के दौरान पौधे से पौधे की दूरी का विशेष ध्यान देना चाहिए.
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ये हैं आलू की प्रमुख किस्में (These are the main varieties of potatoes)
कुफरी अलंकार, कुफरी चंद्र मुखी, कुफरी नवताल जी 2524, कुफरी बहार 3792 ई, कुफरी शील मान, कुफरी ज्योति, कुफरी सिंदूरी, कुफरी बादशाह, कुफरी देवा, कुफरी लालिमा, कुफरी लवकर और कुफरी स्वर्ण.