आलू बुखारा एक ऐसा फल है जिसकी खेती भारत में बहुत कम होती है. इसका स्वाद बिल्कुल ही खट्टमिट्ठा होता है. आलू बुखारा को अलूचा भी कहते हैं. इसका वनस्पति नाम प्रूनस डोमेस्टिका है. यह एक गुठलीदार फल है. आलू बुखारा लाल, भूरा, पीला, काला और कभी-कभी हरे रंग का पाया जाता है. इसका गुदा काफी रसदार होता है. आलू बुखारा की खेती ठंडे प्रदेशों में होती है. वहीं आलू बुखारा का सेवन कई तरह से स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद है. यह फाइबर का एक अच्छा माध्यम है, जो पाचन क्रिया को दुरुस्त करने में मदद करता है. यह विटामिन सी और एंटीऑक्सिडेंट का भी एक अच्छा स्रोत है, जो कि हृदय स्वास्थ्य को बेहतर बनाने में काफी मदद करता है.
आलू बुखारा है कई बीमारियों में लाभदायक
अगर पाचन क्रिया में कोई समस्या आ रही हो उसको दुरुस्त करने में आलू बुखारा काफी मदद करता है. आलू बुखारा में फाइबर की उच्च मात्रा होती है, जो पाचन को बढ़ावा देने में मदद करता है. यह कब्ज को रोकने और पाचन स्वास्थ्य को बेहतर बनाने में भी काफी मदद करता है. हम आपको बता दें कि आलू बुखारा में विटामिन सी की मात्रा काफी प्रचुर मात्रा पाई जाती है, जो इम्यून शक्ति को बढ़ाने में काफी मदद करता है. साथ ही साथ यह इन्फेक्शन से लड़ने और बीमारियों को रोकने में भी सहायक है. आलू बुखारा में एंटीऑक्सिडेंट होते हैं जो हृदय को नुकसान से बचाने में मदद कर सकते हैं. यह कोलेस्ट्रॉल के स्तर को काफी करने और रक्तचाप को नियंत्रित करने में भी काफी फायदेमंद साबित है.
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आलू बुखारा का उपयोग
आलू बुखारा एक स्वस्थ और स्वादिष्ट फल है जिसे आप अपने आहार में शामिल कर सकते हैं. ताजे आलू बुखारा को पूरे फल के रूप में खाया जा सकता है, या इसका उपयोग सलाद, स्मूदी या अन्य व्यंजनों में किया जा सकता है. सुखाया हुआ आलू बुखारा भी एक लोकप्रिय फल है जिसे स्नैक्स या बेकिंग में इस्तेमाल किया जा सकता है. आलू बुखारा से शराब भी बनाया जाता है. साथ ही साथ इसके नियमित सेवन से तनाव जैसी समस्या भी दूर होती है. और प्रतिदिन इसका सेवन करने से नींद ना आने की समस्या से आराम मिलता है.