Maize Farming: रबी सीजन में इन विधियों के साथ करें मक्का की खेती, मिलेगी 46 क्विंटल प्रति हेक्टेयर तक पैदावार! पौधों की बीमारियों को प्राकृतिक रूप से प्रबंधित करने के लिए अपनाएं ये विधि, पढ़ें पूरी डिटेल अगले 48 घंटों के दौरान दिल्ली-एनसीआर में घने कोहरे का अलर्ट, इन राज्यों में जमकर बरसेंगे बादल! केले में उर्वरकों का प्रयोग करते समय बस इन 6 बातों का रखें ध्यान, मिलेगी ज्यादा उपज! भारत का सबसे कम ईंधन खपत करने वाला ट्रैक्टर, 5 साल की वारंटी के साथ Small Business Ideas: कम निवेश में शुरू करें ये 4 टॉप कृषि बिजनेस, हर महीने होगी अच्छी कमाई! ये हैं भारत के 5 सबसे सस्ते और मजबूत प्लाऊ (हल), जो एफिशिएंसी तरीके से मिट्टी बनाते हैं उपजाऊ Mahindra Bolero: कृषि, पोल्ट्री और डेयरी के लिए बेहतरीन पिकअप, जानें फीचर्स और कीमत! Multilayer Farming: मल्टीलेयर फार्मिंग तकनीक से आकाश चौरसिया कमा रहे कई गुना मुनाफा, सालाना टर्नओवर 50 लाख रुपये तक घर पर प्याज उगाने के लिए अपनाएं ये आसान तरीके, कुछ ही दिन में मिलेगी उपज!
Updated on: 8 April, 2019 5:24 PM IST

आजकल खेती में हमें रोज़ नए-नए बदलाव देखने को मिल रहे हैं। कई लोग इसकी ओर आकर्षित हो रहे हैं तो कई लोग इसकी तरफ से मोह भंग कर चुके हैं। ऐसे में बेंगलुरू में रहने वाली 37 वर्षीय गीताजंलि राजामणि एक ऐसी महिला है जो खेतों में अलग-अलग तरीकों को अपनाकर अन्य किसानों की आमदनी को बढ़ाने का कार्य कर रही है। इन्होंने वर्ष 2017 में अपने दो दोस्तों के साथ मिलकर स्टार्टअप कंपनी 'फार्मिजन' को शुरू किया था। वर्तमान में गीताजंलि की कंपनी हैदराबाद और सूरत जैसी जगहों पर कार्य कर रही है।

जैविक खेती की हुई शुरूआत

गीताजंलि सबसे अच्छा कार्य यह कर रही है कि वह किसानों को पार्टनरशिप में खेती करना सीखा रही है. वह किसानों को साथ मिलाकर जैविक खेती करवाने का कार्य कर रही है। दूसरी तरफ उनके खेत को 600-600 वर्गफीट के आकार में बांटकर ग्राहकों को 2500 रूपए प्रति महीने की दर पर किराए पर दे देती है। ग्राहक को अपने मोबाईल पर एप के सहारे मनपंसद सब्जियां उगाने का मौका मिल जाता है और चुने हुए प्लॉट में वह सब्जी को उगाते है। सब्जियों के तैयार होने पर फार्मिजन का वाहन ग्राहकों के घर तक पहुंचा दिया जाता है। इससे लोगों को 100 प्रतिशत आर्गेनिक सब्जियां मिल रही हैं और किसानों को बेहतर आमदनी भी हो रही है। इससे तीन महीने पहले ही फर्मिजन ने जैविक फलों की खेती भी शुरू की थी। इसका सलाना टर्नओवर 8.40 करोड़ रूपए का है।

हैदराबाद में जन्मी गीतजंलि कहती हैं कि जब वह दो साल की थी तब उनके पिता का निधन हो गया था। उनकी मां ने उनकी और उनके बड़े भाई की परवरिश की है। उन्होंने वर्ष 2001 में उस्मानिया कॉलेज फॉर वुमिन हैदराबाद से बीएससी किया है।

यहां से लिया आइडिया

गीताजंलि का कहना है कि हम लोग जो भी सब्जियां खाते हैं उसमें अधिक मात्रा में कीटनाशक होता है। यह हमारे शरीर के लिए घातक होते है। सभी बातों का ध्यान रखते हुए फर्मिजन को शुरू करने का आइडिया दिमाग में आया है। उन्होंने कहा कि वह जहां रहती थीं उसके पास एक किसान भी रहते थे. उन्हीं से कुछ जमीन किराए पर लेकर खुद सब्जियों को उगा लिया। उन्होंने कहा कि वह फसलों पर कीटनाशक का उपयोग नहीं करते है। उनके दो दोस्त शमिक चक्रवर्ती और सुधाकरन बालसुब्रमणियन ने उनकी मदद की। बाद में इस कार्य से कुछ और लोग भी जुड़े। हमने पाया कि 600 वर्गफुट से एक परिवार के जरूरत लायक सब्जियां पैदा हो सकती हैं। हमने एक विशेष एप भी बनाया है। जून 2017 में पहला एप लॉन्च कर दिया गया है। इसके बाद हम बेंगलुरू, हैदाराबाद और सूरत में 47 एकड़ में काम कर रहे है। सितंबर 2017 में 34.50 लाख तक की फंडिंग भी मिली है।

किसानों और ग्राहकों को मनना बड़ी चुनौती

उनका कहना है कि कीटनाशकों के लागातर इस्तेमाल से फसलों को नुकसान हुआ है। हमारे ग्राहकों को बाजार में जिस तरह की भी गोभी मिलती है, उनको ब्लीच करके सफेद कर दिया जाता है। यह तरीका ठीक नहीं है क्योंकि यदि आप जैविक खाएं तो उसमें कीट नहीं होना चाहिए। यदि जैविक गोभी कीड़ों के लिए सेफ है तो यह आपके लिए भी सेफ है।

English Summary: Here is the 37 year old Geetanjali being an organic farming company, being the example for everyone
Published on: 08 April 2019, 05:26 PM IST

कृषि पत्रकारिता के लिए अपना समर्थन दिखाएं..!!

प्रिय पाठक, हमसे जुड़ने के लिए आपका धन्यवाद। कृषि पत्रकारिता को आगे बढ़ाने के लिए आप जैसे पाठक हमारे लिए एक प्रेरणा हैं। हमें कृषि पत्रकारिता को और सशक्त बनाने और ग्रामीण भारत के हर कोने में किसानों और लोगों तक पहुंचने के लिए आपके समर्थन या सहयोग की आवश्यकता है। हमारे भविष्य के लिए आपका हर सहयोग मूल्यवान है।

Donate now